आज की ताजा ख़बरें: 11 अगस्त, 2025 के भारत और विश्व समाचार

आज की ताजा ख़बरें: 11 अगस्त, 2025 के भारत और विश्व समाचार

नमस्ते! 11 अगस्त, 2025 को भारत और दुनिया भर में घटित हुई प्रमुख घटनाओं और महत्वपूर्ण अपडेट्स को समाहित करते हुए यह आपके लिए एक विस्तृत समाचार ब्लॉग प्रस्तुत है। इस दिन की खबरों में राजनीति, प्रौद्योगिकी, कूटनीति, अर्थव्यवस्था और सामाजिक-पर्यावरणीय मुद्दों के महत्वपूर्ण पहलू शामिल हैं।


आज की मुख्य खबरें: 11 अगस्त, 2025 का विस्तृत समाचार अवलोकन

11 अगस्त, 2025, एक ऐसा दिन रहा, जब राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय फलक पर कई महत्वपूर्ण घटनाएँ घटीं, जिन्होंने आने वाले समय के लिए गहरे निहितार्थ छोड़े हैं। भारत में जहां तकनीकी क्षेत्र में बड़े बदलावों की बयार महसूस की जा रही है, वहीं राजनीतिक उठापटक और न्यायिक हस्तक्षेपों ने सुर्खियां बटोरीं। वैश्विक स्तर पर, पुराने संघर्षों में नए मोड़ आए, भू-राजनीतिक तनाव बढ़ा और जलवायु परिवर्तन के परिणामों ने अपनी उपस्थिति दर्ज कराई। इस विस्तृत समाचार ब्लॉग में हम इन सभी महत्वपूर्ण घटनाक्रमों पर विस्तार से चर्चा करेंगे, जिसमें उनकी पृष्ठभूमि, तात्कालिक प्रभाव और भविष्य के लिए उनके संकेत शामिल होंगे।


1. भारत समाचार: एक उभरती शक्ति की चुनौतियाँ और अवसर

भारत के लिए वर्ष 2025 एक महत्वपूर्ण वर्ष के रूप में उभरा है, क्योंकि यह देश न केवल 4 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है, बल्कि जापान को पीछे छोड़ते हुए दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने का लक्ष्य भी प्राप्त करने वाला है। इस यात्रा की सफलता काफी हद तक इस बात पर निर्भर करेगी कि भारत प्रौद्योगिकी का कितना प्रभावी ढंग से उपयोग कर पाता है।

1.1. राजनीतिक और विधायी घटनाक्रम: लोकतंत्र में गर्माहट

सोमवार, 11 अगस्त को भारतीय राजनीति में खासी गहमा-गहमी देखने को मिली, जब विपक्ष ने कथित 'वोट चोरी' के खिलाफ एक व्यापक विरोध प्रदर्शन किया, जिसके परिणामस्वरूप कई बड़े नेताओं को हिरासत में लिया गया। वहीं, संसद में महत्वपूर्ण विधेयक हंगामे के बीच पारित किए गए।

  • 'वोट चोरी' के खिलाफ विपक्ष का प्रदर्शन और गिरफ्तारियां:
    • दिल्ली में राजनीतिक माहौल तब गरमा गया जब विपक्षी 'इंडिया' (इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस) ब्लॉक के 300 से अधिक संसद सदस्यों ने, राहुल गांधी और अन्य वरिष्ठ नेताओं के नेतृत्व में, बिहार में चुनावी सूची के पुनरीक्षण के दौरान कथित 'वोट चोरी' और हेरफेर के गंभीर आरोपों पर संसद से चुनाव आयोग तक एक उच्च-स्तरीय मार्च निकाला। इस विरोध प्रदर्शन का उद्देश्य चुनावी अखंडता के लिए कथित खतरों पर राष्ट्रीय ध्यान आकर्षित करना था, विशेष रूप से विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) अभ्यास के तहत हुए संशोधनों के बाद।
    • हालांकि, मार्च को पुलिस के बड़े बल ने बीच रास्ते में ही रोक दिया, जिससे अराजकता का माहौल बन गया। समाजवादी पार्टी के अखिलेश यादव सहित सांसदों ने बैरिकेड्स फांद दिए और सड़कों पर धरना प्रदर्शन किया। राहुल गांधी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, और तृणमूल कांग्रेस के सांसद महुआ मोइत्रा और मिताली बाग (जिनमें से बाद की दो विरोध प्रदर्शन के दौरान बेहोश हो गईं) सहित कई नेताओं को हिरासत में लिया गया और संसद स्ट्रीट पुलिस स्टेशन ले जाया गया। बाद में उन्हें रिहा कर दिया गया, लेकिन इतनी बड़ी संख्या में संसद सदस्यों की हिरासत भारतीय संसदीय इतिहास में अभूतपूर्व मानी गई। वरिष्ठ कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने सरकार को 'तानाशाह' करार दिया, और इस घटना को वरिष्ठ विपक्षी नेताओं ने 'लोकतंत्र के लिए एक काला समय' बताया।
    • इन घटनाक्रमों ने न केवल सत्तारूढ़ भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार और विपक्ष के बीच बढ़ते तनाव को रेखांकित किया, बल्कि देश की चुनावी प्रक्रियाओं की पारदर्शिता और समावेशिता के संबंध में बढ़ती सार्वजनिक चिंता को भी उजागर किया। इसके अलावा, विरोध प्रदर्शन के प्रति आक्रामक प्रतिक्रिया भारतीय राजनीतिक परिदृश्य में असहमति के लिए घटते स्थान की चिंताजनक प्रवृत्ति को दर्शाती है।
  • संसद में विधायी कार्य:
    • विपक्षी हंगामे के बीच, केंद्र सरकार ने लोकसभा और राज्यसभा में महत्वपूर्ण विधायी गतिविधियों को आगे बढ़ाया, कुल छह विधेयक पारित किए, जिनमें से कई पर बिना किसी बहस या विपक्षी भागीदारी के मुहर लग गई। इस विधायी समूह में शामिल हैं:
      • आयकर विधेयक 2025 और कराधान कानून (संशोधन) विधेयक: ये दोनों विधेयक लोकसभा में विपक्षी विरोध के बीच पारित हुए। इन्हें नए वित्तीय वर्ष के लिए महत्वपूर्ण माना गया, लेकिन संसदीय जांच की कमी के लिए इनकी आलोचना की गई।
      • राष्ट्रीय खेल शासन विधेयक, 2025: राष्ट्रीय खेल निकायों के लिए एक नियामक ढांचा स्थापित करने का लक्ष्य रखता है।
      • राष्ट्रीय डोपिंग रोधी संशोधन विधेयक, 2025: अंतरराष्ट्रीय मानदंडों के अनुरूप डोपिंग रोधी नियंत्रणों को कड़ा करने का उद्देश्य रखता है।
      • गोवा विधान सभा में अनुसूचित जनजातियों के लिए आरक्षण विधेयक: राज्यसभा द्वारा पारित यह संशोधन, आदिवासी समूहों के लिए आनुपातिक प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करता है।
      • मर्चेंट शिपिंग विधेयक, 2025: ऊपरी सदन द्वारा पारित यह विधेयक, व्यापारिक जहाजों के स्वामित्व के लिए पात्रता का विस्तार करने, समुद्री दुर्घटनाओं के लिए सख्त जांच प्रोटोकॉल स्थापित करने और संदिग्ध राष्ट्रीयता वाले जहाजों पर सरकारी नियंत्रण को मजबूत करने के लिए उल्लेखनीय है।
    • इनमें से कई विधेयक विपक्षी बहिर्गमन और विरोध प्रदर्शनों के बीच पारित किए गए, जिससे भारत की विचार-विमर्श वाली लोकतांत्रिक परंपरा के क्षरण के बारे में गंभीर चिंताएं पैदा हुईं। यह तथ्य कि पर्याप्त, दूरगामी विधायी उपायों को पूर्ण बहस के अभाव में अधिनियमित किया जा रहा है, गहरी संसदीय शिथिलता का सूचक है।
  • कर्नाटक के मंत्री का इस्तीफा:
    • कर्नाटक के सहकारिता मंत्री के.एन. राजन्ना ने 2024 के लोकसभा चुनावों के दौरान 'वोट चोरी' की अपनी सार्वजनिक स्वीकृति के बाद राजनीतिक तूफान के बाद इस्तीफा दे दिया, जब कांग्रेस सत्ता में थी। उनकी टिप्पणियों ने कांग्रेस की आधिकारिक स्थिति को सीधे कमजोर किया और पार्टी नेतृत्व को ऐसे समय में शर्मिंदा किया जब राहुल गांधी और अन्य उसी मुद्दे पर राष्ट्रीय विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे थे। रिपोर्टों के अनुसार, शीर्ष कमान के हस्तक्षेप ने इस्तीफे को मजबूर किया, जो कर्नाटक कांग्रेस के भीतर चल रहे नेतृत्व संकटों और गुटीय तनावों के साथ-साथ समग्र रूप से पार्टी के लिए व्यापक अस्थिरता और प्रतिष्ठा जोखिम को दर्शाता है।

1.2. प्रमुख न्यायिक और नीतिगत निर्णय: न्याय और प्रशासन के नए मोर्चे

न्यायपालिका ने भी 11 अगस्त को कई महत्वपूर्ण निर्णय दिए, जो सामाजिक और प्रशासनिक नीतियों पर गहरा प्रभाव डालेंगे।

  • दिल्ली-एनसीआर में आवारा कुत्तों को हटाने पर सुप्रीम कोर्ट का आदेश:
    • इस दिन का सबसे महत्वपूर्ण अदालती आदेश भारत के सर्वोच्च न्यायालय से आया, जिसने दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) की सड़कों से सभी आवारा कुत्तों को आठ सप्ताह के भीतर तत्काल और पूरी तरह से हटाने का निर्देश दिया। बेंच ने पहले से पसंदीदा 'पकड़ो-नसबंदी-छोड़ो' प्रतिमान से 'पकड़ो-आश्रय-रखो' में बदलाव का आह्वान किया, और बड़े पैमाने पर डॉग शेल्टर (5,000-6,000 जानवरों को रखने के लिए) स्थापित करने के लिए एक सख्त समय सीमा लगाई। इसके साथ ही, डॉग बाइट की घटनाओं के लिए एक हेल्पलाइन भी शुरू की गई, जिसमें अधिकारियों को चार घंटे के भीतर प्रतिक्रिया देने की आवश्यकता थी। प्रक्रिया में किसी भी बाधा या विरोध, चाहे व्यक्तियों या पशु अधिकार समूहों द्वारा, को स्पष्ट रूप से अवमानना कार्यवाही की धमकी दी गई थी।
    • यह निर्णय छह वर्षीय लड़की की मृत्यु सहित घातक रेबीज की घटनाओं पर मीडिया के आक्रोश के बाद एक स्वतः संज्ञान याचिका से उभरा। यह निर्णय सार्वजनिक सुरक्षा चिंताओं से प्रेरित एक नाटकीय नीतिगत बदलाव का संकेत देता है, लेकिन यह पशु कल्याण अधिवक्ताओं के लिए भी एक झटका है और आवासीय संघों के लिए एक नया दायित्व जोखिम है। यह दीर्घकालिक आश्रय की व्यवहार्यता, संसाधन आवंटन और आवारा पशुओं की अति-जनसंख्या के मूल कारणों, जैसे अनियंत्रित प्रजनन और खराब अपशिष्ट प्रबंधन को संबोधित करने की आवश्यकता के बारे में और सवाल उठाता है। दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने इस आदेश के बाद 'पूरी योजना बनाने' का आश्वासन दिया।
  • मेधा पाटकर मानहानि मामले में सुप्रीम कोर्ट का फैसला:
    • एक अन्य उल्लेखनीय न्यायिक घटनाक्रम में, सुप्रीम कोर्ट ने प्रसिद्ध पर्यावरणविद् और सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर की लगभग 24 साल पुराने आपराधिक मानहानि मामले में दोषसिद्धि को बरकरार रखा, जो वर्तमान दिल्ली के उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना (तब नेशनल काउंसिल फॉर सिविल लिबर्टीज के प्रमुख) द्वारा दायर किया गया था। हालांकि, 1 लाख रुपये के जुर्माने को माफ कर दिया गया। यह दोषसिद्धि नर्मदा बचाओ आंदोलन के दौरान पाटकर द्वारा दिए गए सार्वजनिक बयानों से संबंधित है, जिन्हें अदालतों ने सक्सेना की सार्वजनिक प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाने वाला पाया। यह मामला नागरिक समाज सक्रियता और व्यक्तिगत प्रतिष्ठा संरक्षणों के बीच बढ़ते तनावों के साथ-साथ भारत में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और मानहानि कानूनों पर व्यापक लड़ाइयों का प्रतीक है।

1.3. भारतीय सुरक्षा और अंतर्राष्ट्रीय मामले: कूटनीतिक संतुलन की चुनौतियाँ

भारत की सुरक्षा और अंतर्राष्ट्रीय संबंध भी 11 अगस्त, 2025 को महत्वपूर्ण घटनाक्रमों से प्रभावित हुए।

  • भारत-पाकिस्तान परमाणु बयानबाजी में तनाव:
    • भारत के विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान के सेना प्रमुख, फील्ड मार्शल आसिम मुनीर द्वारा अमेरिका में दिए गए विवादास्पद बयानों की कड़ी निंदा की, जिसमें उन्होंने पाकिस्तान की परमाणु मुद्रा के बारे में विवादास्पद बयान दिए थे। भारत ने इन टिप्पणियों को "परमाणु ब्लैकमेल" करार दिया और पाकिस्तान के परमाणु कमांड सिस्टम की सुरक्षा और अखंडता के बारे में लंबे समय से चली आ रही शंकाओं को उजागर किया, विशेष रूप से पाकिस्तानी सेना पर आतंकवादी संगठनों के साथ संबंधों का आरोप लगाया। पाकिस्तान ने आधिकारिक तौर पर अपनी "जिम्मेदार परमाणु हथियार संपन्न राज्य" की स्थिति को दोहराया और नागरिक नियंत्रण पर जोर दिया, जबकि चेतावनी दी कि कोई भी भारतीय आक्रामकता "तत्काल और समान प्रतिक्रिया" को जन्म देगी।
    • इस तरह के तीव्र बयानबाजी आदान-प्रदान से लगातार रणनीतिक अविश्वास रेखांकित होता है और दक्षिण एशिया में परमाणु वृद्धि का जोखिम उजागर होता है, खासकर अरब सागर में दोनों देशों द्वारा किए गए हालिया सैन्य अभ्यासों को देखते हुए। अंतरराष्ट्रीय समुदाय ऐसी घटनाओं को गहरी चिंता के साथ देखता रहा है, विशेष रूप से परमाणु प्रसार के इर्द-गिर्द वैश्विक तनाव के बीच।
  • एयर इंडिया की उड़ान में व्यवधान और सुरक्षा चिंताएं:
    • 10 अगस्त की देर रात, तिरुवनंतपुरम-दिल्ली एयर इंडिया की एक उड़ान को, जिसमें कई सांसद भी सवार थे, मौसम रडार की खराबी के संदेह के कारण अप्रत्याशित रूप से चेन्नई मोड़ दिया गया, जो चुनौतीपूर्ण मौसम से और बढ़ गया था। नागर विमानन महानिदेशालय (DGCA) ने स्पष्ट किया कि डायवर्जन, होल्डिंग पैटर्न और गो-अराउंड मानक सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन करते हुए किए गए थे, और कोई आपातकाल घोषित नहीं किया गया था। फिर भी, इस घटना ने यात्रियों, जिनमें कांग्रेस सांसद के.सी. वेणुगोपाल भी शामिल थे, से कड़ी प्रतिक्रियाएं आकर्षित कीं, जिन्होंने इसे "त्रासदी के खतरनाक रूप से करीब" बताया। हालांकि एयर इंडिया और डीजीसीए ने गंभीर खतरे के आरोपों का खंडन किया और चालक दल की व्यावसायिकता पर जोर दिया, लेकिन इस घटना ने एयरलाइन सुरक्षा, नियामक निरीक्षण और उच्च-प्रोफ़ाइल व्यक्तियों से जुड़ी घटनाओं के दौरान संचार प्रोटोकॉल के बारे में चिंताओं को फिर से जगा दिया।
  • भारत के अन्य द्विपक्षीय संबंध:
    • अमेरिका के साथ व्यापार तनाव: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारतीय सामानों पर 50% टैरिफ लगाने के बाद, अमेरिकी ब्रांडों (जैसे मैकडॉनल्ड्स, ऐप्पल) के बहिष्कार का आह्वान किया गया। प्रधानमंत्री मोदी के समर्थकों ने 'आत्मनिर्भरता' पर जोर दिया। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अमेरिकी टैरिफ की आलोचना करते हुए कहा कि प्रमुख वैश्विक शक्तियां भारत के विकास से 'ईर्ष्या' करती हैं। एक सरकारी मंत्री ने बताया कि भारत के अमेरिका को किए जाने वाले कुल उत्पाद निर्यात का लगभग 55% नए टैरिफ से प्रभावित होगा। ट्रंप ने दावा किया कि टैरिफ से अमेरिका को दुश्मनों पर ताकत मिली और पांच युद्धों को सुलझाया गया। हालांकि, ट्रंप के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने चीन पर अतिरिक्त टैरिफ लगाने के सवाल को टाल दिया, यह संकेत देते हुए कि ट्रंप की टैरिफ नीति उन पर ही भारी पड़ रही है।
    • यूके के साथ आव्रजन विवाद: ब्रिटेन ने भारत को अपनी "डिपोर्ट नाउ, अपील लेटर" सूची में शामिल किया है, जिससे भारतीय नागरिकों को देश से बाहर भेजने की प्रक्रिया तेज हो गई है।
    • कनाडा के साथ तनाव: कनाडाई नागरिक हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के बाद भारत-कनाडा संबंध सबसे खराब दौर से गुजर रहे हैं। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा भारत पर लगाए गए आरोपों ने दोनों देशों के रिश्तों को गहरा नुकसान पहुंचाया है। भारत और कनाडा ने एक-दूसरे के राजनयिकों को निष्कासित किया, जिससे दोनों देशों के बीच कूटनीतिक वार्ता और अधिक जटिल हो गई।
    • नेपाल के साथ संबंध: प्रधानमंत्री मोदी ने नेपाल की पांच बार यात्रा की है, लेकिन 2019 के बाद से वे केवल एक बार मई 2022 में वहां गए थे। नेपाल के प्रधानमंत्री के.पी. शर्मा ओली को भारत-विरोधी माना जाता है। ओली की पहली विदेश यात्रा चीन की थी, न कि भारत की, जो पारंपरिक रूप से होती है। दिसंबर 2024 में, ओली सरकार ने चीन की महत्वाकांक्षी बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव (BRI) के नए ढांचे पर समझौता किया।
    • मालदीव के साथ संबंध: नवंबर 2023 में मोहम्मद मुइज्जू के मालदीव के राष्ट्रपति बनने के बाद से भारत-मालदीव संबंधों में तनाव बढ़ गया है, क्योंकि उन्होंने अपने चुनाव अभियान में 'इंडिया आउट' का नारा दिया था। प्रधानमंत्री मोदी की लक्षद्वीप यात्रा और उसके बाद मालदीव के मंत्रियों की भारत-विरोधी टिप्पणियों ने एक नया विवाद खड़ा कर दिया। मालदीव सरकार चीन की ओर झुक रही है, जिससे भारत के लिए चिंताएं बढ़ गई हैं। हालांकि, अगस्त 2024 में विदेश मंत्री एस जयशंकर की मालदीव यात्रा के बाद कुछ समझौतों पर हस्ताक्षर हुए, जिससे लग रहा है कि मालदीव भारत को लेकर सहज हो रहा है।
    • अफगानिस्तान के साथ संबंध: भारत और अफगानिस्तान के बीच ऐतिहासिक संबंध हैं। 1990 के दशक में तालिबान को भारत ने मान्यता नहीं दी थी, लेकिन 2001 में 9/11 के हमलों के बाद अमेरिकी सेना के अफगानिस्तान में आने पर भारत ने 3 अरब डॉलर से अधिक का निवेश किया। हालांकि, अगस्त 2021 में तालिबान के सत्ता पर दोबारा कब्जा करने के बाद भारत को झटका लगा। 2024 में कतर के माध्यम से भारत और अफगानिस्तान के बीच बातचीत बढ़ी है, जिसके परिणाम 2025 में दिखने की उम्मीद है।
    • श्रीलंका के साथ संबंध: हिंद महासागर में अपनी रणनीतिक स्थिति के कारण श्रीलंका भारत के लिए महत्वपूर्ण है। भारत ने 2022 के आर्थिक संकट के दौरान श्रीलंका की मदद की, जबकि चीन ने ऋण पुनर्गठन में मदद करने से इनकार कर दिया था। 2024 में वामपंथी नेता अनुरा कुमारा दिसानायके के राष्ट्रपति बनने के बाद उन्होंने अपनी पहली विदेश यात्रा के लिए भारत को चुना, जो भारत के साथ मजबूत साझेदारी की इच्छा को दर्शाता है। उन्होंने यह भी कहा कि श्रीलंका की जमीन का इस्तेमाल भारत के खिलाफ किसी भी तरह से नहीं होने देंगे।
    • पाकिस्तान के साथ रिश्ते: भारत और पाकिस्तान के रिश्ते सालों से ठंडे बस्ते में पड़े हैं और 2024 में इसमें कोई बड़ा बदलाव नहीं देखा गया। जब तक पाकिस्तान भारत-विरोधी प्रचार और सीमा पार से आतंकवाद को नहीं रोकता, तब तक रिश्ते पटरी पर नहीं लौटेंगे। 2025 आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी की मेजबानी पाकिस्तान के पास है, लेकिन भारतीय क्रिकेट टीम ने पाकिस्तान जाने से साफ इनकार कर दिया है, जिसके कारण हाइब्रिड मॉडल में टूर्नामेंट का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें भारत अपने सभी मुकाबले दुबई में खेलेगा।

1.4. आर्थिक और सतत विकास पहल: प्रगति का पथ

भारत के तकनीकी और आर्थिक विकास के लिए 2025 एक निर्णायक वर्ष है। मैकिंजी की 2024 की रिपोर्ट में उन 18 तकनीकी क्षेत्रों पर चर्चा की गई है, जो 2040 तक वैश्विक अर्थव्यवस्था में 29 से 48 लाख करोड़ डॉलर तक जोड़ सकते हैं।

  • तकनीक क्षेत्र में बदलाव का वर्ष 2025:
    • नई तकनीकों में मौजूद आर्थिक संभावनाओं का दो प्रमुख क्षेत्रों में अधिक से अधिक लाभ उठाया जा सकता है: उत्पादन और इस्तेमाल। उत्पादन तकनीकों से नवाचार को बढ़ावा मिलता है, रोजगार के नए अवसर बनते हैं और आयात पर निर्भरता कम हो जाती है। नवाचार की ताकत ऐसी दुनिया में धाक जमाने में मददगार होती है और अपार आर्थिक लाभ भी दिलाती है। नई तकनीकों के इस्तेमाल से कार्य क्षमता बढ़ती है, उत्पादकता में इजाफा होता है, नवाचार में तेजी आती है और पूरी अर्थव्यवस्था में इनके कई गुना असर नजर आते हैं।
    • सरकार के कदम, जैसे बुनियादी ढांचा तैयार करना, वित्तीय मदद करना, अपनाने की लागत कम करना और कौशल बढ़ाना, बहुत अहमियत रखते हैं। आधार और यूपीआई की सफलता बताती है कि तकनीक के इस्तेमाल को बड़े पैमाने पर ले जाने में सरकारी नीतियां कितनी अधिक कारगर होती हैं।
    • वर्ष 2025 भारत को एक उत्पादक देश में बदलने का भरपूर अवसर और क्षमता देगा। इस कार्य को अंजाम तक पहुंचाने के लिए 1 लाख करोड़ रुपये शोध एवं विकास हेतु निजी क्षेत्र को दिए जाने चाहिए
    • कुछ प्रमुख तकनीकों के लिए सरकार की नीति 2025 में:
      • आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI): जेनेरेटिव एआई सहित आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस भारत के लिए तुरुप का पत्ता साबित होगी। यह स्वास्थ्य, शिक्षा और कृषि में तेजी से छलांग लगाने में भारत की खूब मदद कर सकती है। 10,000 ग्राफिक प्रोसेसिंग इकाइयों (जीपीयू) के लिए वेंडर चुनने का काम तेजी से किया जाना चाहिए। रक्षा और सुरक्षा के लिए एआई बुनियादी ढांचे को प्राथमिकता मिलनी चाहिए। स्टार्टअप इकाइयों को बढ़ावा देने एवं कृषि, स्वास्थ्य, शिक्षा और सफाई में कम लागत पर बुनियादी मॉडल तैयार करने पर भी जोर होना चाहिए। भारत के विविधता भरे सूचना भंडार का एपीआई आधारित इस्तेमाल होना चाहिए ताकि स्टार्टअप स्थानीय स्तर पर एआई मॉडल तैयार कर सकें।
      • साइबर सुरक्षा एवं फॉरेंसिक: भारत में डिजिटल तकनीक का प्रसार जिस तेजी से हुआ है, साइबर सुरक्षा का इंतजाम उस तेजी से नहीं हो पाया है, जिससे खतरा बढ़ गया है। एआई के गलत इस्तेमाल के खतरों, क्वांटम तकनीक और क्रिप्टोकरेंसी, उपग्रह तथा ड्रोन जैसे उभरते साधनों से इन चुनौतियों में इजाफा ही होगा। इनसे निपटने के लिए ऊर्जा, परिवहन, विमानन, तेल एवं गैस और स्वास्थ्य क्षेत्र जैसे सभी महत्त्वपूर्ण क्षेत्रों में सख्त साइबर सुरक्षा नियम लागू हों, जिनमें दंड का प्रावधान भी होना चाहिए। डिजिटल व्यक्तिगत डेटा सुरक्षा (डीपीडीपी) कानून, 2023 को 2025 में जल्द से जल्द लागू किया जाना चाहिए। कारोबारों में डिजिटल फॉरेंसिक के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया जाना चाहिए, इसके लिए निजी प्रयोगशालाओं को इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य की जांच करने वाला घोषित किया जाना चाहिए।
      • क्वांटम टेक्नोलॉजी: रक्षा, स्वास्थ्य, दूरसंचार, अंतरिक्ष और वित्त जैसे प्रमुख क्षेत्रों में क्वांटम तकनीक का इस्तेमाल करने के लिए नोडल मंत्रालय तय किया जाना चाहिए। क्वांटम की डिस्ट्रिब्यूशन (क्यूकेडी) और पोस्ट-क्वांटम क्रिप्टोग्राफी तकनीक अपनाने के लिए तथा मौजूदा देसी क्षमताओं का फायदा उठाने के लिए तय समयसीमा वाली कार्य योजना लागू होनी चाहिए। क्वांटम तकनीक के जरिये सुरक्षित बनाई गई उपग्रह संचार क्षमताओं का भी विकास किया जाना चाहिए।
      • सूचना भंडार का इस्तेमाल: गूगल, फेसबुक, माइक्रोसॉफ्ट और एमेजॉन जैसी तकनीकी कंपनियां डेटा का फायदा उठाकर खरबों डॉलर वाली इकाइयां बन गई हैं। भारत दुनिया में सबसे अधिक डेटा तैयार करता है, जिससे कमाई करने के लिए अकाउंट एग्रीगेटर (एए) मॉडल अपनाया जा सकता है। 2025 में 'एए' मॉडल को वित्त में इस्तेमाल करने और सार्वभौम बनाने पर जोर होना चाहिए। साथ ही इसे शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्र में भी लागू करने पर विचार किया जाना चाहिए। पीएम गति शक्ति भौगोलिक सूचना तंत्र पर आधारित महत्त्वपूर्ण योजना (मास्टर प्लान) है, जिसे सभी परियोजनाओं में समान रूप से लागू किया जाना चाहिए। देश में जल अर्थव्यवस्था की क्षमताओं का पूरा लाभ उठाने के लिए पीएम अंडरवाटर गति शक्ति पर भी कार्य शुरू होना चाहिए, इसके लिए स्मार्ट मैरिटाइम जोन बनाए जा सकते हैं।
      • क्लाउड कंप्यूटिंग और डेटा सेंटर: दुनिया में 600 अरब डॉलर का क्लाउड कंप्यूट का बाजार है मगर उसमें भारत की हिस्सेदारी महज 1.6 प्रतिशत है, जबकि दुनिया में तैयार होने वाले डेटा में 20 प्रतिशत भारत से ही मिलता है। सरकार को 2030 तक वैश्विक क्लाउड ढांचे में लगभग 5 प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल करने के लिए आक्रामक नीति के साथ आगे बढ़ना होगा।
      • डिजिटल प्रतिस्पर्द्धा: डिजिटल दुनिया में किसी एक संस्था या देश के एकाधिकार से निपटने के लिए 2025 में एक कानूनी ढांचा तैयार किए जाने की जरूरत है। इस ढांचे का मकसद नवाचार और उपभोक्ताओं के हित में संतुलन साधना और अफसरशाही की जकड़ से हो रही बाधाएं दूर करना है।
      • एयर मोबिलिटी (ड्रोन): ड्रोन उद्योग में भारत दुनिया का प्रमुख दावेदार बनकर उभरा है, जहां स्टार्टअप कंपनियां देसी स्तर पर ड्रोन-टैक्सी डिजाइन तेजी से तैयार कर रही हैं। वर्टिपोर्ट (विमानों के लंबवत उड़ने और उतरने के लिए स्थान) के नियम एयर-टैक्सी के मानक की अधिसूचना जारी की जा चुकी है। लेकिन स्वचालित मानव रहित यातायात प्रबंधन की कमी खल रही है, इससे जुड़े नियम 2025 में अधिसूचित किए जाने चाहिए।
      • सेमीकंडक्टर: विभिन्न राज्यों में कई फैब्रिकेशन परियोजनाओं की घोषणा हो चुकी है और 2025 में इन परियोजनाओं को अमल में लाने पर जोर होना चाहिए। बैक एंड फैब्रिकेशन संयंत्रों में काम चालू होना चाहिए और रसायन, गैस, सबस्ट्रेट्स तथा खपत होने वाली सामग्री के आपूर्ति तंत्र को प्रोत्साहन मिलना चाहिए।
      • अंतरिक्ष: 2025 में इस क्षेत्र में कई महत्त्वपूर्ण कदम उठाए होंगे। इनमें उपग्रह से होने वाली संचार सेवाओं के लिए उपग्रह स्पेक्ट्रम आवंटन निपटाने, 1,000 करोड़ रुपये का वेंचर फंड आवंटित करने और इसरो के छोटे स्तर के उपग्रह प्रक्षेपण यान की तकनीक निजी उद्योग को भी देना शामिल हैं। सरकार को उपग्रह का इस्तेमाल तेज करने के लिए भी योजनाएं तैयार करनी चाहिए।
  • दूसरी सतत कृषि शिखर सम्मेलन 2025:
    • नई दिल्ली ने 2025 में दूसरे सतत कृषि शिखर सम्मेलन और पुरस्कारों की मेजबानी की, जिसमें सरकारी अधिकारी, वैज्ञानिक, उद्योग जगत के नेता, उद्यमी और पूरे भारत के प्रतिष्ठित किसान शामिल हुए। केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने जोर दिया कि "भारत की विकास गाथा किसानों की प्रगति और टिकाऊ कृषि को अपनाने में निहित होनी चाहिए," जो राष्ट्र की दीर्घकालिक आर्थिक महत्वाकांक्षाओं को किसान कल्याण और पर्यावरणीय प्रबंधन के विषयों से सीधे जोड़ता है।
    • शिखर सम्मेलन के प्रमुख परिणाम और मुख्य बातें:
      • सफल जिला पहलों की पहचान: जिला प्रशासकों को अभिनव हस्तक्षेपों के लिए सम्मानित किया गया, जैसे उच्च मूल्य वाली फसलों और बेहतर मिट्टी स्वास्थ्य की दिशा में फसल विविधीकरण।
      • कृषि मूल्य श्रृंखलाओं पर निवेश केंद्रित: वक्ताओं ने अल्पकालिक फसल ऋणों से परे हरित, जलवायु-स्मार्ट नवाचारों में निजी और सार्वजनिक दोनों निधियों को लगाने का आह्वान किया।
      • प्रौद्योगिकी-संचालित कृषि: सटीक उपकरण, डेटा-संचालित खेती, और जैविक इनपुट (जैसे आईपीएल बायोलॉजिकल से) जैसे नवाचारों को जमीनी जरूरतों और वैश्विक बेंचमार्किंग के बीच सेतु के रूप में प्रदर्शित किया गया।
      • जल और इनपुट प्रबंधन: जल-स्मार्ट प्रथाओं और शून्य-तरल-निर्वहन प्रणालियों सहित जिम्मेदार संसाधन प्रबंधन पर जोर दिया गया।
      • समावेशी, विज्ञान-नेतृत्व वाली वृद्धि: सम्मेलन ने 2047 के लिए 'विकसित भारत' के दृष्टिकोण को बढ़ावा दिया, जिसमें सतत कृषि व्यापक आर्थिक परिवर्तन के लिए उत्प्रेरक के रूप में कार्य करेगी।
    • शिखर सम्मेलन का झुकाव भारत की दोहरी प्राथमिकताओं को दर्शाता है: पर्यावरणीय स्थिरता और ग्रामीण आर्थिक लचीलापन। राष्ट्रीय रणनीति में इन विषयों को एकीकृत करना महत्वपूर्ण है क्योंकि भारत का लक्ष्य दो दशकों के भीतर दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनना है।
  • फसल बीमा वितरण और कृषि नीति अपडेट:
    • केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 11 अगस्त को प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (PMFBY) के तहत 30 लाख किसानों को 3,200 करोड़ रुपये डिजिटल रूप से वितरित किए, जिससे जोखिम न्यूनीकरण के माध्यम से किसान कल्याण पर सरकार के जोर की पुष्टि हुई। एक महत्वपूर्ण नई नीति राज्यों या बीमा कंपनियों पर 12% का जुर्माना लगाती है जो क्रमशः अपने योगदान या भुगतान में देरी करते हैं, ताकि दक्षता सुनिश्चित की जा सके और किसानों की परेशानी कम हो सके।
  • ऊर्जा संक्रमण सूचकांक में भारत की स्थिति:
    • विश्व आर्थिक मंच (WEF) द्वारा एक्सेंचर के सहयोग से 18 जून, 2025 को जारी वैश्विक ऊर्जा संक्रमण सूचकांक (ETI) 2025 में भारत पिछले वर्ष के 63वें स्थान से फिसलकर 71वें स्थान पर आ गया है। हालांकि, ऊर्जा निवेश क्षमता और दक्षता में उल्लेखनीय सुधार भी हुआ है।
    • भारत और चीन ने बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सर्वाधिक समग्र सुधार प्रदर्शित किया है, विशेष रूप से ऊर्जा तक पहुंच बढ़ाने और संक्रमण की तैयारी को मजबूत करने में। शीर्ष पांच सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाएं (चीन, अमेरिका, यूरोपीय संघ, जापान और भारत) अपने विशाल आकार के कारण अंततः वैश्विक ऊर्जा परिवर्तन की गति और दिशा निर्धारित करेंगी।
    • भारत की चुनौतियों में आयातित जीवाश्म ईंधन पर निर्भरता (ऊर्जा सुरक्षा), पुराने ग्रिड बुनियादी ढांचे और सीमित भंडारण क्षमता (बुनियादी ढांचा अंतराल), और ग्रामीण एवं हाशिए पर रहने वाले समुदायों के लिए किफायती ऊर्जा पहुंच सुनिश्चित करना (समानता चिंताएं) शामिल हैं।

1.5. वित्तीय और आर्थिक बाज़ार अपडेट: स्थिरता और वृद्धि के संकेत

भारत की अर्थव्यवस्था ने 11 अगस्त को कई सकारात्मक और चुनौतीपूर्ण संकेत दिखाए।

  • भारतीय अर्थव्यवस्था का परिदृश्य:
    • संयुक्त राष्ट्र के आर्थिक और सामाजिक मामलों के विभाग (UNDESA) द्वारा जारी "विश्व आर्थिक स्थिति और संभावनाएं (WESP)-2025" रिपोर्ट में भारत की जीडीपी वृद्धि दर 2025 के लिए 6.6% से घटाकर 6.3% कर दी गई है। हालांकि, यह अभी भी प्रमुख वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में सबसे अधिक है और 2026 में 6.4% तक पहुंचने की उम्मीद है।
    • भारत में मुद्रास्फीति 2025 में 4.3% रहने का अनुमान है (2024 में 4.9% से कम), जो आरबीआई के 2-6% के लक्ष्य क्षेत्र के भीतर है और प्रभावी मौद्रिक प्रबंधन को दर्शाता है।
    • भारत में बेरोजगारी आम तौर पर स्थिर बनी हुई है, हालांकि श्रम शक्ति भागीदारी में लैंगिक असमानताएं एक संरचनात्मक चुनौती बनी हुई हैं।
    • भारत के विकास के प्रमुख प्रेरक: विनिर्माण और निर्यात। विनिर्माण का GVA 2023-24 में 27.5 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ गया। कुल निर्यात 2024-25 में रिकॉर्ड 824.9 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा, जिसमें सेवा निर्यात 387.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर और गैर-पेट्रोलियम वस्तु निर्यात 374.1 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा। रक्षा उत्पादन में भी निर्यात मूल्य लगभग तीन गुना बढ़ गया है, और भारत अब लगभग 100 देशों को निर्यात कर रहा है, जो भारतीय रक्षा क्षमताओं में बढ़ते वैश्विक विश्वास का संकेत है।
  • आरबीआई डॉलर-रुपया स्वैप: अधिशेष तरलता के बीच कोई रोलओवर नहीं:
    • भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने घोषणा की कि वह 4 अगस्त, 2025 को परिपक्व होने वाले 5 बिलियन डॉलर के डॉलर-रुपया स्वैप को बिना रोलओवर के वितरित करेगा, बैंकिंग प्रणाली में मजबूत तरलता अधिशेष (3.60 लाख करोड़ रुपये से अधिक, या जमा का 1.5%) का हवाला देते हुए। यह निर्णय वित्तीय क्षेत्र की मजबूती को दर्शाता है और मुद्रास्फीति के दबाव को रोकने, मुद्रा स्थिरता बनाए रखने और मुद्रा बाजारों में विश्वास को बढ़ावा देने के लिए आरबीआई की चल रही तरलता प्रबंधन रणनीति का हिस्सा है। इस कदम से न्यूनतम बाजार व्यवधान होने की उम्मीद थी और इसने मौद्रिक अनुशासन बनाए रखने के लिए एक सतत प्रतिबद्धता का संकेत दिया।
  • शेयर बाज़ार की स्थिति:
    • सेंसेक्स और निफ्टी सोमवार को जोरदार तेजी के साथ बंद हुए। बीएसई का सेंसेक्स सप्ताह के पहले कारोबारी दिन 746 अंकों की उछाल के साथ 80,604 के स्तर पर बंद हुआ, जबकि एनएसई का निफ्टी 221 अंकों की तेजी के साथ 24,585 के स्तर पर बंद हुआ। बाजार में तेजी के बीच बीएसई का मिडकैप 350 अंकों की बढ़त में रहा। घरेलू सोने की कीमतों में उछाल आया, प्रमुख महानगरों में 24-कैरेट सोने का भाव ₹10,228 प्रति ग्राम और 22-कैरेट का भाव ₹9,375 प्रति ग्राम रहा।
  • जीएसटी चोरी और अवसंरचना निवेश:
    • कर्नाटक में ₹40,000 करोड़ की जीएसटी चोरी दर्ज की गई, जिसमें पांच गुना वृद्धि हुई। अवसंरचना के मोर्चे पर, लार्सन एंड टुब्रो ने अदानी पावर से थर्मल यूनिटों के लिए ₹15,000 करोड़ का अनुबंध जीता। बीईएमएल ने मध्य प्रदेश में ₹1,800 करोड़ का रेल हब लॉन्च किया, जो वंदे भारत और मेट्रो कोच का निर्माण करेगा।

2. विश्व समाचार: एक उलझी हुई दुनिया में उभरते जोखिम

11 अगस्त, 2025 को अंतर्राष्ट्रीय मंच पर कई महत्वपूर्ण और परस्पर जुड़े घटनाक्रम देखने को मिले, जो वैश्विक भू-राजनीति, मानवीय संकटों और तकनीकी प्रगति की जटिलताओं को उजागर करते हैं।

2.1. प्रमुख भू-राजनीतिक घटनाक्रम: संघर्ष और कूटनीति

वैश्विक स्तर पर, इजराइल-गाजा संघर्ष, रूस-यूक्रेन युद्ध और चीन की आंतरिक राजनीति ने महत्वपूर्ण स्थान बनाए रखा।

  • अमेरिका-रूस शिखर सम्मेलन और यूक्रेन युद्ध की संभावनाएं:
    • 15 अगस्त, 2025 को अलास्का में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच होने वाले ऐतिहासिक शिखर सम्मेलन की बेसब्री से प्रतीक्षा की जा रही है। यह दशकों में अमेरिकी धरती पर इस तरह की पहली बैठक होगी। यह शिखर सम्मेलन यूक्रेन में चल रहे खूनी संघर्ष की पृष्ठभूमि में हो रहा है, जिसमें ट्रंप ने युद्ध समाप्त करने के लिए अभियान चलाया था और दोनों पक्ष शांति के लिए यूक्रेनी क्षेत्र का आदान-प्रदान करने के प्रस्तावों पर विचार कर रहे हैं। कीव इंडिपेंडेंट की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि ट्रंप की योजना में यूक्रेन के कुछ इलाकों जैसे डोनेट्स्क और लुहांस्क को रूस को सौंपना शामिल है, बदले में रूस खारकीव और सूमी जैसे छोटे इलाकों से अपनी सेना हटाएगा। यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की इस प्रस्ताव को मानने को तैयार नहीं हैं।
    • यूरोपीय नेता, हाशिए पर धकेल दिए जाने की आशंका में, वार्ताओं में यूक्रेन की सीधी भागीदारी का आह्वान कर रहे हैं और रूस को किसी भी भूमि रियायत को अस्वीकार करते हुए वैकल्पिक प्रस्ताव पेश कर रहे हैं। नाटो महासचिव मार्क रूटे ने कहा कि शांति वार्ता और युद्धविराम के बाद क्षेत्रीय मुद्दों या यूक्रेन के लिए सुरक्षा गारंटियों की बात होने पर यूक्रेन को शामिल किया जाना जरूरी होगा। ट्रंप और पुतिन के बीच यदि कोई समझौता होता है, तो इससे जेलेंस्की की मुश्किलें बढ़ जाएंगी, क्योंकि उन्हें यह समझौता मानना ही होगा। जेलेंस्की ने कहा कि यूक्रेन का संविधान हमारी जमीन की रक्षा करता है, 1 इंच भी जमीन रूस को नहीं देंगे।
    • अलास्का का स्थान—जिसे पुतिन पर अंतर्राष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय के अधिकार क्षेत्र से बचने के लिए और रूस के निकटता के कारण चुना गया था—वार्ताओं की तात्कालिकता और जटिलता दोनों को रेखांकित करता है। हालांकि यूक्रेनी राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की ने सतर्क आशावाद व्यक्त किया, उन्होंने मजबूत अंतरराष्ट्रीय दबाव की आवश्यकता दोहराई और चेतावनी दी कि रूस से शांति की दिशा में अभी तक कोई सार्थक संकेत नहीं मिला है। इस शिखर सम्मेलन का परिणाम यूरोपीय सुरक्षा को नाटकीय रूप से बदल सकता है, जिसमें मौजूदा क्षेत्रीय यथास्थिति को मजबूत करने या संघर्ष के नए मोर्चे खोलने की क्षमता है।
  • मध्य पूर्व: गाजा संकट और वैश्विक प्रतिक्रिया:
    • इजराइल-गाजा संघर्ष का विस्तार और पत्रकारों की हत्या: इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने गाजा को इजरायल का हिस्सा बनाने की घोषणा की है, जिसके बाद गाजा में इजरायल के अत्याचार बढ़ते दिख रहे हैं। 11 अगस्त को, गाजा में अल-शिफा अस्पताल के पास एक मीडिया टेंट पर इजरायली हवाई हमलों में अल जज़ीरा के पांच पत्रकारों की मौत हो गई, जिनमें प्रमुख संवाददाता अनस अल-शरीफ भी शामिल थे। अल जज़ीरा, प्रमुख वैश्विक प्रेस वकालत संगठनों और संयुक्त राष्ट्र के वरिष्ठ अधिकारियों ने इस हमले को "लक्षित हत्या" और प्रेस की स्वतंत्रता पर हमला बताते हुए इसकी निंदा की। इस घटना ने गाजा युद्ध में पत्रकारों की मौत का आंकड़ा अक्टूबर 2023 से लगभग 270 तक पहुंचा दिया है—जो मीडियाकर्मियों के लिए दर्ज सबसे घातक संघर्ष है।
    • इजरायली अधिकारियों ने दावा किया कि अल-शरीफ हमास का एक संचालक था, लेकिन अंतरराष्ट्रीय समूहों ने एक स्वतंत्र जांच और इजरायल के खिलाफ तत्काल प्रतिबंधों का आह्वान किया, जिसमें सच्चाई बताने पर पड़ने वाले बुरे प्रभाव और संघर्ष क्षेत्रों में पत्रकारों की सुरक्षा के मौलिक महत्व पर ध्यान दिया गया। नेतन्याहू ने गाजा शहर और केंद्रीय शिविरों पर नियंत्रण करने की अपनी सरकार की योजना का बचाव किया, हालांकि सहयोगियों और घरेलू विरोधियों की आलोचना के बावजूद।
    • संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की आपात बैठक: संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने गाजा शहर पर नियंत्रण करने के इजरायल के सैन्य अभियानों का विस्तार करने के निर्णय को संबोधित करने के लिए एक आपातकालीन सत्र बुलाया। प्रधानमंत्री नेतन्याहू की योजना, जिसे विश्व स्तर पर "खतरनाक वृद्धि" के रूप में आलोचना की गई, में 800,000 तक नागरिकों का बड़े पैमाने पर विस्थापन शामिल था—एक ऐसा कदम जिसके बारे में संयुक्त राष्ट्र ने चेतावनी दी थी कि इससे गाजा की पहले से ही तबाह आबादी के लिए "एक और भयानक अध्याय" शुरू हो सकता है। परिषद के भीतर बहस ध्रुवीकृत थी: कई देशों, जिनमें फ्रांस, यूके, रूस, और कई अरब और अफ्रीकी सदस्य शामिल थे, ने इजरायली योजना को अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून का उल्लंघन और आगे की तबाही, भुखमरी और जातीय सफाई का मार्ग बताया। इजरायल ने कहा कि उसकी योजना का उद्देश्य हमास से "मुक्ति" थी, न कि स्थायी कब्जा। संयुक्त राज्य अमेरिका ने हमास की जिम्मेदारी पर प्रकाश डाला और बंधकों की रिहाई का आह्वान किया, और इजरायल की योजना की सीधे निंदा करने से परहेज किया, एक ऐसी स्थिति जिसे कई अंतरराष्ट्रीय प्रतिभागियों द्वारा विवादास्पद माना गया। गाजा में स्थानीय स्वास्थ्य अधिकारियों ने 61,000 से अधिक मौतों (18,000 से अधिक बच्चों सहित) और भुखमरी में तेजी से वृद्धि की सूचना दी, जिसमें 222 से अधिक लोग, कई बच्चे, प्रतिदिन भूख और सहायता नाकेबंदी से मर रहे थे। यह सत्र बिना किसी औपचारिक प्रस्ताव के समाप्त हुआ, जो मध्य पूर्व के मुद्दों पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के लगातार गतिरोध को उजागर करता है।
    • क्षेत्रीय विरोध प्रदर्शन: तेल अवीव में, नेतन्याहू के गाजा युद्ध के बढ़ने के खिलाफ 100,000 से अधिक इजरायलियों ने विरोध प्रदर्शन किया, युद्धविराम और बंधकों की तत्काल रिहाई की मांग की। बंधकों के परिवारों ने आम हड़ताल का आह्वान किया, जो व्यापक जनभावना को दर्शाता है कि केवल बातचीत, न कि लगातार सैन्य कार्रवाई, प्रियजनों के जीवन को सुरक्षित करेगी। साथ ही, मलेशिया से तुर्की और लंदन तक के शहरों में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन हुए, जहां पुलिस ने सैकड़ों फिलिस्तीन समर्थक प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया, जिन्होंने कुछ कार्यकर्ता समूहों के लिए सार्वजनिक समर्थन पर नए प्रतिबंधों की अवहेलना की थी। ये विरोध प्रदर्शन इजरायल-फिलिस्तीन संघर्ष के दोनों पक्षों पर तीव्र नागरिक लामबंदी को रेखांकित करते हैं—एक प्रवृत्ति जो वैश्विक राजनीतिक विमर्श को नया आकार दे रही है और नागरिक स्वतंत्रता और आतंकवाद-विरोधी पर सरकारी नीतियों को चुनौती दे रही है।
  • चीन में राजनीतिक उठापटक और एससीओ शिखर सम्मेलन:
    • चीन में इसी महीने के अंत में तियानजिन शहर में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की बैठक होनी है। इसमें रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी हिस्सा लेने वाले हैं। इस बीच, चीन की सत्ताधारी कम्युनिस्ट पार्टी के विदेश विभाग के प्रमुख, वरिष्ठ राजनयिक ल्यू जियान चाऊ को हिरासत में ले लिया गया है, जिनसे लंबी पूछताछ हुई है। पहले उन्हें चीन का विदेश मंत्री बनाया जाने वाला था। यह पहला मामला नहीं है; 2023 में तत्कालीन विदेश मंत्री किन गैंग को भी अचानक पद से हटा दिया गया था।
  • कोलंबियाई राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार की हत्या:
    • बोगोटा में एक रैली में कोलंबियाई राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार की सिर में दो बार गोली मारकर हत्या कर दी गई, जिससे राजनीतिक तनाव बढ़ गया।

2.2. वैश्विक मानवीय और सुरक्षा संकट: दुनिया भर में बढ़ता बोझ

मानवीय संकट और सुरक्षा चुनौतियां भी 11 अगस्त को वैश्विक ध्यान का केंद्र बनी रहीं।

  • सूडान में कुपोषण से मौतें:
    • सूडान के घिरे हुए एल-फाशर, उत्तरी दारफुर में एक विनाशकारी मानवीय स्थिति सामने आई, जहां एक सप्ताह में कम से कम 63 लोगों की कुपोषण से मौत हो गई, जिनमें ज्यादातर महिलाएं और बच्चे थे। यह शहर अर्धसैनिक रैपिड सपोर्ट फोर्सेज (RSF) से घिरा हुआ है, जहां सहायता लगभग पूरी तरह से बंद है, सामुदायिक रसोई बंद हो गई है, और अकाल तेजी से फैल रहा है। पांच साल से कम उम्र के लगभग 40% बच्चे गंभीर रूप से कुपोषित हैं। यह स्थिति दुनिया के सबसे बड़े विस्थापन और भूख संकटों को दर्शाती है, क्योंकि युद्ध तीसरे वर्ष भी जारी है, जिसमें हजारों लोग मारे गए हैं और लाखों विस्थापित हुए हैं।
  • अमेरिकी घरेलू कानून, आव्रजन और नागरिक अधिकार:
    • ट्रंप का नेशनल गार्ड का उपयोग: लॉस एंजिल्स में ऐतिहासिक मुकदमा: सैन फ्रांसिस्को में एक ऐतिहासिक संघीय मुकदमा शुरू हुआ, जिसमें यह निर्धारित किया जाना था कि क्या राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लॉस एंजिल्स में आव्रजन छापों का समर्थन करने और विरोध प्रदर्शनों को दबाने के लिए नेशनल गार्ड सैनिकों की तैनाती ने पोसे कोमिटैटस अधिनियम का उल्लंघन किया है—एक महत्वपूर्ण कानून जो नागरिक कानून प्रवर्तन में सैन्य भागीदारी को प्रतिबंधित करता है। कैलिफोर्निया के गवर्नर गेविन न्यूसॉम ने अवैध सैन्यीकरण और राज्य संप्रभुता के उल्लंघन का हवाला देते हुए मुकदमा दायर किया। इस मुकदमे का परिणाम भविष्य के नागरिक अशांति परिदृश्यों में राष्ट्रपति शक्ति के लिए एक मिसाल कायम कर सकता है और ट्रंप द्वारा वाशिंगटन, डी.सी. में भी सैनिकों को तैनात करने की नई धमकियों के बीच इसे बारीकी से देखा जा रहा है।
    • लेटिटिया जेम्स और एडम शिफ की DOJ जांच: राष्ट्रपति ट्रंप के न्याय विभाग ने न्यूयॉर्क के अटॉर्नी जनरल लेटिटिया जेम्स और सीनेटर एडम शिफ के खिलाफ जांच शुरू की, जिसमें एक विशेष अटॉर्नी को बंधक धोखाधड़ी और संबंधित आरोपों की जांच के लिए नियुक्त किया गया—ये कार्रवाई व्यापक रूप से ट्रंप और ट्रंप संगठन के खिलाफ पिछली कानूनी कार्रवाइयों में उनकी भूमिका के लिए राजनीतिक प्रतिशोध के रूप में देखी गईं। यह कदम प्रशासन के उस व्यापक अभियान का हिस्सा है जिसे वह कानूनी कार्यवाही के "हथियारकरण" कहता है, लेकिन इसकी आलोचना कानून के शासन पर हमले और राजनीतिक विरोधियों को निशाना बनाने के लिए एक खतरनाक मिसाल के रूप में हुई है।
    • नशीले पदार्थों के कार्टेल को सैन्य निशाना बनाने का पेंटागन निर्देश: न्यूयॉर्क टाइम्स ने खुलासा किया कि राष्ट्रपति ट्रंप ने गुप्त रूप से नशीले पदार्थों के कार्टेल को निशाना बनाने के लिए विदेशों में अमेरिकी सैन्य बल के उपयोग को अधिकृत किया था, जिसकी शुरुआत मेक्सिको में नामित आतंकवादी समूहों से हुई थी। इस कदम को मैक्सिकन राष्ट्रपति क्लाउडिया शीनबाम ने कड़ी फटकार लगाई, जिन्होंने मैक्सिकन धरती पर किसी भी अमेरिकी सैनिक की उपस्थिति को स्पष्ट रूप से खारिज कर दिया। कानूनी विशेषज्ञों ने चेतावनी दी कि एकतरफा हमले गंभीर मानवाधिकारों, संप्रभुता और अंतरराष्ट्रीय कानून की चुनौतियां पेश कर सकते हैं।
    • न्यूयॉर्क ICE सुविधा में आप्रवासी अधिकार मुकदमा: एक पेरू के आप्रवासी के नेतृत्व में ट्रंप प्रशासन के खिलाफ लोअर मैनहट्टन ICE सुविधा में कथित उपेक्षा और दुर्व्यवहार के लिए एक क्लास-एक्शन मुकदमा दायर किया गया था। इस मुकदमे में भीड़भाड़ वाली, अस्वच्छ स्थितियों का वर्णन किया गया है जहां बंदियों को बुनियादी स्वच्छता, कानूनी सलाह और चिकित्सा देखभाल से वंचित किया गया था। कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन किए, और सुविधा के पास कम से कम 15 लोगों को गिरफ्तार किया गया। इस घटना ने अमेरिका में आप्रवासियों के लिए बिगड़ती स्थिति और प्रशासन के आव्रजन प्रवर्तन के प्रति increasingly punitive दृष्टिकोणों को उजागर किया।
    • ट्रंप ने IRS आयुक्त को हटाया: राष्ट्रपति ट्रंप ने आव्रजन कर डेटा साझा करने में सहायता के लिए आप्रवासी कर डेटा साझा करने पर विवादों के बाद IRS आयुक्त बिली लॉन्ग को पुष्टि के दो महीने से भी कम समय में अचानक हटा दिया—जो एक रिकॉर्ड कम कार्यकाल है। इस कदम ने IRS में चल रहे बदलाव और उथल-पुथल को जोड़ा, जो पहले से ही बजट कटौती और पुनर्गठन प्रयासों के दबाव में था।

2.3. जलवायु और पर्यावरण घटनाक्रम: वैश्विक चुनौतियां

पर्यावरणीय मुद्दे 11 अगस्त को भी वैश्विक चिंताओं में सबसे आगे रहे, जिसमें प्लास्टिक प्रदूषण और जंगल की आग जैसे गंभीर मुद्दे शामिल थे।

  • जेनेवा आईएनसी-5.2 प्लास्टिक संधि वार्ता: धीमी प्रगति:
    • प्लास्टिक प्रदूषण पर एक ऐतिहासिक वैश्विक संधि के लिए जिनेवा में चल रही वार्ताओं में बहुत कम ठोस प्रगति हुई, जो अनिवार्य उत्पादन सीमाओं पर विवादों और प्रमुख पेट्रोकेमिकल और जीवाश्म ईंधन लॉबी द्वारा तीव्र पैरवी के कारण बाधित हुई। नागरिक समाज ने गतिरोध पर चिंता व्यक्त की, चेतावनी दी कि कमजोर परिणाम स्वास्थ्य और पारिस्थितिक तंत्र की रक्षा करने में विफल रहेंगे। भारत और अन्य प्रमुख उत्पादक अर्थव्यवस्थाओं ने बाध्यकारी सीमाओं के बजाय लचीले, विकास-उन्मुख दृष्टिकोणों की वकालत की—जो पर्यावरणीय नुकसान को संबोधित करते हुए औद्योगीकरण के लिए जगह बनाए रखने की आवश्यकता से निर्देशित एक स्थिति है।
  • कनाडा और अमेरिका में जंगल की आग: सीमा पार वायु गुणवत्ता संकट:
    • कनाडा में 750 से अधिक जंगल की आग (500 से अधिक अनियंत्रित) के साथ, न्यूयॉर्क और शिकागो जैसे प्रमुख शहरों सहित दस अमेरिकी राज्यों में वायु गुणवत्ता अलर्ट फैल गए। ईपीए ने "संवेदनशील समूहों के लिए अस्वस्थ" चेतावनी जारी की, और कई प्रमुख हवाई अड्डों पर उड़ान संचालन धुएं और कम दृश्यता के कारण विलंबित हुए। जलवायु परिवर्तन-प्रेरित सूखे और गर्मी से बढ़ी हुई ये आग, कनाडाई इतिहास में सबसे खराब जंगल की आग के मौसम में से एक के रूप में परिणित होती है और क्षेत्रीय जलवायु कार्रवाई और तैयारी रणनीतियों की तात्कालिकता को तेज करती है।
  • ग्रेट बैरियर रीफ कोरल क्षति:
    • ऑस्ट्रेलिया के ग्रेट बैरियर रीफ ने 40 वर्षों में अपने जीवित कोरल कवर में सबसे महत्वपूर्ण वार्षिक गिरावट दर्ज की है, जिसका श्रेय जलवायु परिवर्तन और पर्यावरणीय तनावों को दिया गया है। यह अलार्मिंग प्रवृत्ति जैव विविधता हॉटस्पॉट को संरक्षित करने के लिए तत्काल वैश्विक जलवायु कार्रवाई की आवश्यकता पर जोर देती है।

2.4. तकनीक नवाचार और जोखिम: भविष्य की दिशा

प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में 11 अगस्त को कई महत्वपूर्ण घोषणाएं और जोखिम संबंधी रिपोर्टें सामने आईं।

  • आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) मॉडल में नवाचार:
    • OpenAI ने GPT-5 AI मॉडल जारी किया, जिसमें गति, सटीकता और पिछली संस्करणों की तुलना में कम मतिभ्रम (hallucinations) में सुधार का दावा किया गया। इसमें समायोज्य सोचने के तरीके (जैसे गति के लिए नैनो) और डेवलपर्स के लिए कई आकार शामिल हैं।
    • Google ने Gemini Deep Think AI को रोल आउट किया, एक तर्क मॉडल जो तेजी से समस्या-समाधान के लिए कई विचारों को समानांतर में संसाधित करता है। यह AI अल्ट्रा उपयोगकर्ताओं के लिए उपलब्ध है और कोडिंग और ऐप बनाने जैसे कार्यों के लिए अनुकूलित है।
    • Anthropic ने Claude 4.1 Opus का अनावरण किया, जो वास्तविक दुनिया की कोडिंग, एजेंट कार्यों और नए समीक्षा वर्कफ़्लो के साथ उद्यम सुरक्षा में सुधार करता है।
    • DeepMind ने Genie 3 World Model पेश किया, एक टेक्स्ट-टू-3डी वर्ल्ड जनरेटर जो वास्तविक समय की गति पर इंटरैक्टिव, भौतिकी-जागरूक वातावरण बनाता है, जिससे AI एजेंटों और रोबोटिक्स प्रशिक्षण में मदद मिलती है।
    • xAI ने Grok Imagine फीचर लॉन्च किया, जो Grok के लिए छवि और लघु वीडियो निर्माण को सक्षम करता है, जिसमें एक स्पष्ट मोड भी शामिल है।
    • OpenAI ने gpt-oss मॉडल भी जारी किए, जो Apache 2.0 लाइसेंस के तहत खुले-वजन वाले मॉडल हैं, जो लागत और अनुकूलन पर प्रतिस्पर्धियों पर दबाव डालते हुए ओपन-सोर्स जड़ों की ओर वापसी का प्रतीक हैं। चीन के मूनशॉट एआई किमि के2 को भी ओपन-सोर्स किया गया है, जो कोडिंग और एजेंट कार्यों में उत्कृष्ट है। Hugging Face ने बहुभाषी और ओपन-सोर्स AI विकास का समर्थन करते हुए नए प्री-प्रशिक्षित मॉडल जोड़े हैं।
    • Microsoft ने Windows 11 के Copilot और Azure में सुधार की घोषणा की, जिसमें AR/VR के लिए फोटो से 3डी मॉडल जनरेशन शामिल है।
  • सेमीकंडक्टर निर्यात शुल्क और व्यापार नीतियां:
    • अमेरिकी सरकार ने चीन को Nvidia और AMD से उन्नत चिप्स के निर्यात पर शुल्क लगाया है, जिसका उद्देश्य क्षेत्र में तकनीकी प्रगति को रोकना है। यह व्यापार नीति में वृद्धि वैश्विक सेमीकंडक्टर आपूर्ति श्रृंखलाओं को बाधित कर सकती है और चीन में AI प्रगति को धीमा कर सकती है। Nvidia और AMD दोनों कंपनियां चीन को निर्यात लाइसेंस के लिए अमेरिकी सरकार को चिप्स आवंटित कर रही हैं।
  • अंतरिक्ष में गैलेक्सी टकराव:
    • पृथ्वी से लगभग 700 मिलियन प्रकाश वर्ष दूर, अबेल 3667 गैलेक्सी क्लस्टर में दो विशाल गैलेक्सियां (IC4965 और Jo171) गुरुत्वाकर्षण की खींचतान में उलझी हुई हैं, और इस टकराव ने तारों का एक पुल बनाया है जो 1 मिलियन प्रकाश वर्ष तक फैला है। इस धुंधली रोशनी को कैद करने के लिए चिली के सेरो टोलोलो इंटर अमेरिकन ऑब्जरवेटरी में डार्क एनर्जी कैमरा ने 28 घंटों का डेटा जोड़ा। यह पुल सिर्फ खूबसूरत नहीं बल्कि डार्क मैटर का रहस्य भी उजागर करता है। वेरा सी. रुबिन ऑब्जरवेटरी का एलएसएसटी प्रोजेक्ट अगले साल हजारों गैलेक्सी क्लस्टरों की नई कहानियां सामने लाएगा।
    • SpaceX Starship रॉकेट का परीक्षण के दौरान विस्फोट: टेक्सास में SpaceX Starship रॉकेट का एक उड़ान परीक्षण की तैयारी के दौरान विस्फोट हो गया, जिसे लाइव स्ट्रीम पर कैद किया गया। यह कंपनी के पुन: प्रयोज्य अंतरिक्ष यान विकास में एक और झटका है।
  • वैश्विक जोखिम रिपोर्ट 2025: प्रौद्योगिकी और सामाजिक ध्रुवीकरण के खतरे:
    • विश्व आर्थिक मंच (WEF) ने "वैश्विक जोखिम रिपोर्ट, 2025" का 20वां संस्करण जारी किया है, जिसमें सर्वाधिक दबाव वाले वैश्विक जोखिमों और उनकी उभरती प्रकृति का विस्तृत विश्लेषण प्रस्तुत किया गया है। रिपोर्ट में जलवायु परिवर्तन, तकनीकी प्रगति, भू-राजनीतिक तनाव और सामाजिक ध्रुवीकरण जैसे प्रमुख मुद्दों पर प्रकाश डाला गया है।
    • जोखिम संबंधी धारणाओं में प्रमुख रुझान:
      • पर्यावरणीय जोखिम दीर्घकालिक चिंताओं पर हावी हैं: चरम मौसम की घटनाओं के नेतृत्व में पर्यावरणीय जोखिम लगातार 10-वर्षीय जोखिम रैंकिंग में शीर्ष पर रहे हैं। प्रदूषण 2009 में 37वें स्थान से बढ़कर 2025 में दूसरे स्थान पर पहुंच गया है, जो जैव विविधता की हानि और पारिस्थितिकी तंत्र के पतन के साथ-साथ बढ़ रहा है।
      • सामाजिक जोखिम दीर्घकालिक चुनौतियों के रूप में: असमानता, सामाजिक ध्रुवीकरण (2025 में 8वें स्थान पर, 2012 में 21वें स्थान से), और मानवाधिकारों का ह्रास जैसे जोखिम लगातार उच्च स्तर पर हैं।
      • तकनीकी जोखिम अस्थिर हैं: प्रतिकूल कृत्रिम बुद्धिमत्ता परिणाम और साइबर युद्ध शामिल हैं। गलत सूचना जैसी उभरती हुई चिंताएं (डिजिटल प्लेटफॉर्म और AI-जनरेटेड सामग्री के कारण बढ़ी) पहले के जोखिमों का स्थान ले रही हैं, जो तकनीकी परिवर्तन की तीव्र गति को उजागर करती हैं।
      • एल्गोरिथम पूर्वाग्रह जोखिम: त्रुटिपूर्ण डेटा, सामाजिक विभाजन और मानवीय निरीक्षण से उत्पन्न होते हैं, जिससे भर्ती, सार्वजनिक सेवाओं या पूर्वानुमानित पुलिसिंग जैसे निर्णयों में असमानताएँ उत्पन्न होती हैं।
      • नागरिक निगरानी संबंधी चिंताएं: सरकारें और तकनीकी कंपनियां AI, डेटा एनालिटिक्स और डिजिटल प्लेटफॉर्म का लाभ उठा रही हैं, अक्सर अपर्याप्त कानूनी सुरक्षा उपायों के साथ। इससे मीडिया और सूचना स्रोतों पर लोगों का भरोसा घट रहा है।
      • जैविक हथियार और जैव आतंकवाद संबंधी खतरे: बायोटेक में हुई प्रगति से खतरा उत्पन्न करने वाले अभिकर्ताओं के लिए जैविक एजेंट बनाना या उनमें परिवर्तन करना सरल हो गया है, जिससे संभावित रूप से महामारी या लक्षित जैविक हमले हो सकते हैं। AI-संचालित साधनों की सुलभता और कम लागत से जैव हथियार विकसित किए जाने का जोखिम बढ़ गया है, जिसमें विशिष्ट आनुवंशिक समूहों को लक्षित किया जाना भी शामिल है।
    • रिपोर्ट की सिफारिशें: वैश्विक संधियों और समझौतों में भू-आर्थिक टकराव को हल करने की दीर्घकालिक क्षमता है। घरेलू आर्थिक अनुकूलन को मजबूत करना, प्रदूषण से निपटने के लिए व्यापक नीतियां अपनाना, नैतिक और नियामक निरीक्षण पर जोर देना, पेंशन और श्रम की कमी को संबोधित करने के लिए संरचनात्मक सुधार करना प्रमुख सिफारिशें हैं।

3. तुलनात्मक विश्लेषण: प्रमुख घरेलू और वैश्विक रुझान

विषयभारत – प्रमुख घटनाएँविश्व – प्रमुख घटनाएँविश्लेषणात्मक टिप्पणी
संसदीय लोकतंत्र'वोट चोरी' के विरोध प्रदर्शन के दौरान 300 से अधिक सांसदों की हिरासत; बिना बहस के प्रमुख विधेयक पारितसंयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद गाजा पर गतिरोध में; अमेरिकी राजनीतिक संस्थाओं में उथल-पुथललोकतांत्रिक और सहभागी स्थान सिकुड़ रहे हैं; ध्रुवीकरण, प्रक्रिया का विरोध
न्यायिक सक्रियतासुप्रीम कोर्ट का आवारा कुत्तों पर आदेश; मेधा पाटकर मानहानि बरकरारसैन्य तैनाती पर ऐतिहासिक मुकदमा; अमेरिकी DOJ का राजनीतिकरणराजनीतिक विवादों के बीच अदालतें केंद्रीय युद्धक्षेत्र हैं; कार्यकारी अतिरेक और अधिकारों के मुद्दे सामने आते हैं
सुरक्षा तनावभारत-पाकिस्तान परमाणु बयानबाजी; सैन्य अभ्यासअमेरिका-रूस-यूक्रेन; इजराइल-फिलिस्तीन; सूडानपरमाणु जोखिम, क्षेत्रीय युद्ध, और मानवीय संकट हावी हैं; वैश्विक सुरक्षा वातावरण बिगड़ रहा है
अर्थव्यवस्था और नीतिसतत कृषि शिखर सम्मेलन; पीएमएफबीवाई भुगतान; आरबीआई स्वैप निर्णयवैश्विक वित्तीय प्रणाली चेतावनी; जलवायु नीतियां; व्यापार और टैरिफ विवादभारत समावेशी, सतत विकास पर जोर देता है; दुनिया ऋण जोखिमों और संघर्ष एवं संरक्षणवाद से आर्थिक पुनर्गठन का सामना करती है
पर्यावरण और जलवायुवैश्विक प्लास्टिक संधि भागीदारी पर नीतिगत बहसजंगल की आग, वैश्विक प्रदूषण, संधि वार्ताजलवायु परिवर्तन आपदाओं की आवृत्ति और गंभीरता बढ़ाता है; नीतिगत विवाद मजबूत कार्रवाई में देरी करते हैं
मीडिया और नागरिक स्वतंत्रताएँविरोध दमन; कार्यकर्ता दोषसिद्धियाँपत्रकारों की लक्षित हत्या; सेंसरशिप; फिलिस्तीन समर्थक विरोध प्रदर्शनों पर कार्रवाईसरकार और संघर्ष दोनों से प्रेस और विरोध की स्वतंत्रता खतरे में है

इनमें से प्रत्येक पैटर्न न केवल उस दिन की घटनाओं को दर्शाता है, बल्कि वैश्विक मानदंडों में दीर्घकालिक पुनर्व्यवस्था, राज्य शक्ति और नागरिक समाज के बदलते संतुलन, और संकट के बीच तीव्र सामाजिक परिवर्तन के प्रबंधन की चल रही चुनौतियों को भी दर्शाता है।


निष्कर्ष

11 अगस्त, 2025, भारत और विश्व मंच पर प्रमुख घटनाओं की एक श्रृंखला से चिह्नित था। भारत में मजबूत संसदीय कार्रवाई और तीव्र विपक्षी विरोध का संगम देखा गया, जो व्यापक न्यायिक हस्तक्षेपों और नीतिगत नवाचारों से मेल खाता था, जिसका उद्देश्य आर्थिक प्रगति को सामाजिक और पर्यावरणीय अनिवार्यताओं के साथ संतुलित करना था। इस बीच, वैश्विक परिदृश्य में मध्य पूर्व और पूर्वी यूरोप में सुरक्षा संकटों, संयुक्त राज्य अमेरिका के भीतर कानूनी और नागरिक अधिकारों की प्रतियोगिताओं, और पर्यावरणीय आपदा की भयानक छाया का प्रभुत्व था। प्रेस की स्वतंत्रता, नागरिक स्वतंत्रताएं, और सहभागी शासन का भविष्य कई देशों में बढ़ते खतरों का सामना कर रहा था।

निर्णायक रूप से, इस दिन की घटनाओं ने दो केंद्रीय विषयों को रेखांकित किया: लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं को परिभाषित और बचाव करने का दुनिया भर में चल रहा संघर्ष; और पारदर्शी बहुपक्षीय कार्रवाई, समावेशी नीति सुधारों, और नए सिरे से सार्वजनिक जुड़ाव के माध्यम से संयुक्त मानवीय, सुरक्षा, और पर्यावरणीय खतरों से निपटने की तत्काल आवश्यकता। परिदृश्य अभी भी नाजुक बना हुआ है, लेकिन वर्तमान अस्थिरता और भविष्य के परिवर्तन की दिशा दोनों को समझने के लिए ऐसे घटनाक्रमों पर बारीकी से नज़र रखना आवश्यक है।


11 अगस्त, 2025 से संबंधित समाचारों पर आधारित 100 प्रश्न और उत्तर

यहाँ 11 अगस्त, 2025 से संबंधित समाचारों पर आधारित 100 प्रश्न और उत्तर दिए गए हैं:

2025 में भारत में प्रौद्योगिकी क्षेत्र में बदलाव

प्रश्न: मैकिंजी की 2024 की रिपोर्ट में 2040 तक वैश्विक अर्थव्यवस्था में तकनीक से जुड़े कितने क्षेत्रों के योगदान की चर्चा की गई है?

उत्तर: मैकिंजी की 2024 की रिपोर्ट में तकनीक से जुड़े उन 18 क्षेत्रों की चर्चा की गई है, जो 2040 तक वैश्विक अर्थव्यवस्था में 29 से 48 लाख करोड़ डॉलर तक जोड़ सकते हैं।

प्रश्न: वर्ष 2025 में भारत को कौन से दो महत्त्वपूर्ण मुकाम हासिल करने की उम्मीद है?

उत्तर: वर्ष 2025 में भारत 4 लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा और जापान को पीछे छोड़कर दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा।

प्रश्न: नई तकनीक में मौजूद आर्थिक संभावनाओं का किन दो प्रमुख क्षेत्रों में अधिक से अधिक लाभ उठाया जा सकता है?

उत्तर: ये दो क्षेत्र हैं उत्पादन और इस्तेमाल

प्रश्न: भारत को एक उत्पाद देश में बदलने के लिए शोध एवं विकास हेतु निजी क्षेत्र को कितनी राशि दी जानी चाहिए?

उत्तर: इस कार्य को अंजाम तक पहुंचाने के लिए 1 लाख करोड़ रुपये शोध एवं विकास हेतु निजी क्षेत्र को दिए जाने चाहिए

प्रश्न: आर्टिफिशल इंटेलिजेंस (एआई) भारत के लिए किन क्षेत्रों में तेजी से छलांग लगाने में मदद कर सकती है?

उत्तर: एआई भारत की स्वास्थ्य, शिक्षा और कृषि में तेजी से छलांग लगाने में खूब मदद कर सकती है।

प्रश्न: साइबर सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए किन क्षेत्रों में सख्त साइबर सुरक्षा नियम लागू करने की सिफारिश की गई है?

उत्तर: ऊर्जा, परिवहन, विमानन, तेल एवं गैस और स्वास्थ्य क्षेत्र जैसे सभी महत्त्वपूर्ण क्षेत्रों में सख्त साइबर सुरक्षा नियम लागू हों, जिनमें दंड का प्रावधान भी होना चाहिए।

प्रश्न: डिजिटल व्यक्तिगत डेटा सुरक्षा (डीपीडीपी) कानून, 2023 को 2025 में कब तक लागू किया जाना चाहिए?

उत्तर: डिजिटल व्यक्तिगत डेटा सुरक्षा (डीपीडीपी) कानून, 2023 को 2025 में जल्द से जल्द लागू किया जाना चाहिए

प्रश्न: क्वांटम तकनीक का इस्तेमाल करने के लिए किन क्षेत्रों में नोडल मंत्रालय तय किया जाना चाहिए?

उत्तर: रक्षा, स्वास्थ्य, दूरसंचार, अंतरिक्ष और वित्त जैसे प्रमुख क्षेत्रों में क्वांटम तकनीक का इस्तेमाल करने के लिए नोडल मंत्रालय तय किया जाना चाहिए।

प्रश्न: दुनिया में क्लाउड कंप्यूट का बाजार कितने अरब डॉलर का है और उसमें भारत की हिस्सेदारी कितनी है?

उत्तर: दुनिया में 600 अरब डॉलर का क्लाउड कंप्यूट का बाजार है, मगर उसमें भारत की हिस्सेदारी महज 1.6 प्रतिशत है।

प्रश्न: भारत सरकार को 2030 तक वैश्विक क्लाउड ढांचे में लगभग कितने प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल करने के लिए आक्रामक नीति के साथ आगे बढ़ना होगा?

उत्तर: सरकार को 2030 तक वैश्विक क्लाउड ढांचे में लगभग 5 प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल करने के लिए आक्रामक नीति के साथ आगे बढ़ना होगा।

प्रश्न: ड्रोन उद्योग में भारत की क्या स्थिति है?

उत्तर: ड्रोन उद्योग में भारत दुनिया का प्रमुख दावेदार बनकर उभरा है, जहां स्टार्टअप कंपनियां देसी स्तर पर ड्रोन-टैक्सी डिजाइन तेजी से तैयार कर रही हैं।

प्रश्न: सेमीकंडक्टर क्षेत्र में 2025 में किन परियोजनाओं को अमल में लाने पर जोर होना चाहिए?

उत्तर: विभिन्न राज्यों में कई फैब्रिकेशन परियोजनाओं की घोषणा हो चुकी है और 2025 में इन परियोजनाओं को अमल में लाने पर जोर होना चाहिए।

प्रश्न: अंतरिक्ष क्षेत्र में 2025 में कौन से महत्त्वपूर्ण कदम उठाए जाने हैं?

उत्तर: इनमें उपग्रह से होने वाली संचार सेवाओं के लिए उपग्रह स्पेक्ट्रम आवंटन निपटाने, 1,000 करोड़ रुपये का वेंचर फंड आवंटित करने और इसरो के छोटे स्तर के उपग्रह प्रक्षेपण यान की तकनीक निजी उद्योग को भी देना शामिल हैं।

11 अगस्त 2025 की प्रमुख खबरें (राष्ट्रीय)

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में आवारा कुत्तों को लेकर क्या आदेश दिया?

उत्तर: सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में डॉग्स के काटने की बढ़ती घटनाओं पर स्वतः संज्ञान लेते हुए दिल्ली सरकार, MCD और NDMC को तत्काल सभी इलाकों से आवारा डॉग्स को पकड़कर शेल्टर होम में डालने का निर्देश दिया। पकड़े गए डॉग्स को किसी भी परिस्थिति में वापस उन्हीं इलाकों में नहीं छोड़ा जाएगा।

प्रश्न: 'वोट चोरी' के मुद्दे पर विपक्ष ने 11 अगस्त 2025 को दिल्ली में कहां मार्च निकाला?

उत्तर: 'वोट चोरी' के मुद्दे पर विपक्ष के नेताओं ने दिल्ली में चुनाव आयोग के खिलाफ व्यापक मार्च निकाला।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को लोकसभा में कौन से विधेयक पारित हुए?

उत्तर: लोकसभा में आयकर विधेयक 2025 और नेशनल स्पोर्ट्स गवर्नेंस और एंटी-डोपिंग अमेंडमेंट बिल 2025 सहित छह बिल पारित हुए।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को राज्यसभा से कौन से विधेयक पारित हुए?

उत्तर: राज्यसभा से गोवा विधानसभा में एसटी रिजर्वेशन बिल, मर्चेंट शिपिंग विधेयक 2025 और मणिपुर जीएसटी बिल और मणिपुर विनियोग विधेयक 2025 पास हुए।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को बेंगलुरु में पीएम मोदी ने किस मेट्रो लाइन का उद्घाटन किया?

उत्तर: पीएम मोदी ने येलो लाइन मेट्रो (आर.वी. रोड से बोमासंड्रा) का उद्घाटन किया, जिसे एक महिला पायलट ने संचालित किया।

प्रश्न: भारत में एशियाई शेरों की आबादी 2020 से 2025 तक कितनी बढ़ी है?

उत्तर: भारत की शेर आबादी 2020 में 674 से बढ़कर 891 हो गई है, जिसमें वयस्क मादा शेरों की संख्या 330 तक पहुंच गई है।

प्रश्न: सीबीएसई ने कक्षा 11-12 के लीगल स्टडीज पाठ्यक्रम में कौन से समकालीन मुद्दे शामिल किए हैं?

उत्तर: लीगल स्टडीज पाठ्यक्रम में तीन तलाक, देशद्रोह और धारा 377 के संशोधनों जैसे समकालीन मुद्दे शामिल किए गए हैं।

प्रश्न: पिछले 5 वर्षों में भारत ने कितने प्रमुख एफटीए (मुक्त व्यापार समझौते) पर हस्ताक्षर किए हैं?

उत्तर: भारत ने पिछले 5 वर्षों में 5 प्रमुख एफटीए पर हस्ताक्षर किए हैं, और अधिक सौदों के लिए बातचीत जारी है।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को भारतीय सेना प्रमुख साइमन स्टुअर्ट कितने दिवसीय दौरे पर भारत पहुंचे?

उत्तर: ऑस्ट्रेलियाई थलसेना प्रमुख साइमन स्टुअर्ट 4 दिवसीय दौरे पर भारत पहुंचे

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को भारतीय महिला क्रिकेट टीम की कप्तान हरमनप्रीत कौर ने महिला वनडे विश्व कप ट्रॉफी अनावरण समारोह में क्या कहा?

उत्तर: हरमनप्रीत कौर ने कहा कि "हम उस मिथक को तोड़ना चाहते हैं, जिसका इंतजार पूरा देश कर रहा है"।

प्रश्न: महिला वनडे विश्व कप का पहला मैच कब और किन टीमों के बीच खेला जाएगा?

उत्तर: महिला वनडे विश्व कप का पहला मैच 30 सितंबर को भारत और श्रीलंका के बीच बेंगलुरु में खेला जाएगा।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को आरबीआई ने डॉलर-रुपये स्वैप के संबंध में क्या घोषणा की?

उत्तर: आरबीआई ने घोषणा की कि वह 4 अगस्त 2025 को परिपक्व होने वाले 5 बिलियन डॉलर के डॉलर-रुपये स्वैप को रोलओवर के बिना वितरित करेगा, जिससे बैंकिंग प्रणाली में मजबूत तरलता अधिशेष का हवाला दिया गया।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को प्रधान मंत्री फसल बीमा योजना (PMFBY) के तहत कितने करोड़ रुपये और कितने किसानों को वितरित किए गए?

उत्तर: केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ₹3,200 करोड़ digitally वितरित किए 30 लाख किसानों को PMFBY के तहत।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को तेलंगाना में भारी बारिश के लिए कितने जिलों के लिए चेतावनी जारी की गई?

उत्तर: IMD ने तेलंगाना के 11 जिलों के लिए चेतावनी जारी की, जिसमें हैदराबाद भी शामिल है।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को भारत में सोने की दरें क्या रहीं?

उत्तर: 24K सोने की कीमत ₹10,228/ग्राम, 22K के लिए ₹9,375/ग्राम और 18K के लिए ₹7,671/ग्राम हो गई।

11 अगस्त 2025 की प्रमुख खबरें (अंतर्राष्ट्रीय)

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को किस एयरलाइन ने दिल्ली-वॉशिंगटन डीसी के बीच सीधी उड़ान सेवा बंद करने का ऐलान किया?

उत्तर: एअर इंडिया ने 1 सितंबर 2025 से दिल्ली-वॉशिंगटन डी.सी. के बीच सीधी उड़ान सेवा बंद करने का ऐलान किया।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को इजरायली हवाई हमले में गाजा में अल-जज़ीरा के कितने पत्रकार मारे गए?

उत्तर: गाजा में इजरायली हमले में अल-जज़ीरा के पांच पत्रकार मारे गए।

प्रश्न: मारे गए अल-जज़ीरा पत्रकारों के नाम क्या थे?

उत्तर: मारे गए पत्रकारों में अनस अल शरीफ, मोहम्मद करीके, इब्राहिम जहीर, मोहम्मद नौफल और मोमिन अलीबा शामिल हैं।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को कौन से देश फिलिस्तीन को मान्यता देने की योजना बना रहे हैं?

उत्तर: ऑस्ट्रेलिया ने सितंबर में संयुक्त राष्ट्र महासभा में फिलिस्तीन को एक स्वतंत्र राज्य के रूप में मान्यता देने की योजना बनाई है, और ऐसा करने वाले देशों में फ्रांस और ब्रिटेन भी शामिल हैं।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने टैरिफ के बारे में क्या कहा?

उत्तर: यू.एस. राष्ट्रपति ट्रंप बोले, 'टैरिफ से हमारा देश मजबूत और अमीर बन रहा है'

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को अमेरिका ने किन संगठनों को आतंकवादी संगठन घोषित किया?

उत्तर: अमेरिका ने बीएलए (BLA) और मजीद ब्रिगेड (Majid Brigade) को आतंकी संगठन घोषित किया।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को यूएस स्टील प्लांट में कहां धमाका हुआ?

उत्तर: पिट्सबर्ग के पास, पेनसिल्वेनिया के क्लेर्टन में यूएस स्टील कोक प्लांट में धमाका हुआ।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को अलास्का में अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच कब बैठक होने वाली है?

उत्तर: डोनाल्ड ट्रंप और व्लादिमीर पुतिन के बीच 15 अगस्त को अलास्का में बैठक होने वाली है।

प्रश्न: कीव इंडिपेंडेंट की रिपोर्ट में ट्रंप के प्लान में यूक्रेन के संबंध में क्या दावा किया गया है?

उत्तर: ट्रंप के प्लान में यूक्रेन के कुछ इलाकों को रूस को सौंपना शामिल है, जिसके बदले जंग खत्म की जाएगी।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को सूडान के एल-फाशेर शहर में कुपोषण से कितने लोगों की मौत हुई?

उत्तर: सूडान के एल-फाशेर, उत्तरी दारफुर शहर में कुपोषण से कम से कम 63 लोगों की मौत हुई है।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को चीन में सत्ताधारी कम्युनिस्ट पार्टी के विदेश विभाग के प्रमुख ल्यू जियान चाऊ को लेकर क्या खबर सामने आई?

उत्तर: खबर आ रही है कि ल्यू जियान चाऊ को हिरासत में ले लिया गया है और उनसे लंबी पूछताछ हुई है।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को ईरान और आईएईए के बीच होने वाली बैठक का मुख्य उद्देश्य क्या है?

उत्तर: बैठक परमाणु कार्यक्रम पर बातचीत के लिए होने वाली है, हालांकि ईरान ने परमाणु संयंत्रों की जांच की इजाजत अभी नहीं दी है।

प्रश्न: ट्रंप प्रशासन की नई नीति के तहत, यूएस में प्रवास को लेकर भारत को किस सूची में जोड़ा गया है?

उत्तर: यूके सरकार ने भारत को "Deport Now, Appeal Later" नीति सूची में जोड़ा है।

प्रश्न: अमेरिका द्वारा भारतीय वस्तुओं पर लगाए गए 50% टैरिफ के कारण भारत में अमेरिकी ब्रांडों के बहिष्कार का आह्वान किया गया, ये कौन से ब्रांड हैं?

उत्तर: बहिष्कार के आह्वान में मैकडॉनल्ड्स और एप्पल जैसे अमेरिकी ब्रांड शामिल हैं।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को जापान के किस द्वीप पर भारी बारिश के चलते बाढ़ और भूस्खलन हुआ?

उत्तर: जापान के कशू द्वीप पर भारी बारिश के चलते बाढ़ और भूस्खलन हुआ।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को कोलंबिया के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार की हत्या कैसे हुई?

उत्तर: बोगोटा की रैली में सिर में दो बार गोली मारकर हत्या कर दी गई।

प्रश्न: 11 अगस्त 2025 को किस देश ने यूक्रेन में युद्ध समाप्त करने के लिए रूस पर प्रतिबंध और दबाव को जरूरी बताया?

उत्तर: यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की ने कहा कि युद्ध समाप्त करने के लिए रूस पर प्रतिबंध और दबाव जरूरी है।

भारत के लिए 2025 की चुनौतियाँ और कूटनीति

प्रश्न: वर्ष 2025 को भारत के लिए चुनौतियों से भरा वर्ष क्यों माना जा रहा है?

उत्तर: रूस-यूक्रेन और इजराइल-हमास युद्ध, पड़ोसी बांग्लादेश में सत्ता परिवर्तन, अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप की वापसी, और अशांत मध्य पूर्व ने 2025 को भारत के लिए चुनौतियों से भरा वर्ष बना दिया है।

प्रश्न: 2025 में भारत किन शिखर सम्मेलनों की मेजबानी करेगा?

उत्तर: 2025 में भारत क्वॉड नेताओं के शिखर सम्मेलन और भारत-ईयू शिखर सम्मेलन की मेजबानी करेगा।

प्रश्न: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 2025 में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शिखर सम्मेलन में किस देश की यात्रा कर सकते हैं?

उत्तर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चीन की यात्रा कर सकते हैं।

प्रश्न: 2025 में किस देश के राष्ट्रपति का भारत दौरा संभावित है?

उत्तर: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का भारत दौरा संभावित है।

प्रश्न: डोनाल्ड ट्रंप के आगामी रुख से भारत के किस उद्योग पर बड़ा असर पड़ सकता है?

उत्तर: ट्रंप के आगामी रुख से भारत के आईटी उद्योग पर बड़ा असर पड़ सकता है।

प्रश्न: खालिस्तान विवाद के कारण भारत-अमेरिका संबंधों में तनाव का कारण क्या है?

उत्तर: खालिस्तान समर्थक गुरपतवंत सिंह पन्नू पर साजिश के आरोपों ने दोनों देशों के बीच तनाव को बढ़ाया है।

प्रश्न: हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के बाद भारत-कनाडा संबंधों में खटास का क्या कारण है?

उत्तर: कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा भारत पर लगाए गए आरोपों ने दोनों देशों के रिश्तों को गहरा नुकसान पहुंचाया है।

प्रश्न: पूर्वी लद्दाख में 2024 में हुए समझौते ने भारत-चीन सीमा विवाद पर क्या संकेत दिया है?

उत्तर: पूर्वी लद्दाख में समझौते ने दोनों देशों के बीच गतिरोध को कम करने का संकेत दिया है।

प्रश्न: विशेषज्ञ क्यों मानते हैं कि चीन, अमेरिका के दबाव में भारत के साथ संबंध सुधारने की कोशिश करेगा?

उत्तर: विशेषज्ञ मानते हैं कि चीन, अमेरिका के दबाव में भारत के साथ संबंध सुधारने की कोशिश करेगा।

प्रश्न: रूस-यूक्रेन युद्ध के बाद पश्चिमी देशों द्वारा लगाए गए आर्थिक प्रतिबंधों के बावजूद भारत ने रूस से क्या आयात जारी रखा?

उत्तर: भारत ने रूस से तेल का आयात जारी रखा

प्रश्न: 2024 में भारत-रूस व्यापार कितने अरब डॉलर तक पहुंच गया?

उत्तर: 2024 में भारत-रूस व्यापार 66 अरब डॉलर तक पहुंच गया।

प्रश्न: भारत के लिए 2025 में सबसे बड़ी चुनौती क्या होगी?

उत्तर: भारत के लिए 2025 में सबसे बड़ी चुनौती अमेरिका और रूस के बीच संतुलन बनाए रखना होगा।

प्रश्न: बांग्लादेश में 2024 में सत्ता परिवर्तन के बाद भारत-बांग्लादेश संबंधों में क्या देखा गया?

उत्तर: बांग्लादेश में 2024 में सत्ता परिवर्तन के बाद भारत के साथ संबंधों में तनाव बढ़ा है।

प्रश्न: मध्य पूर्व में अशांति भारत के लिए कौन सी नई चुनौतियां खड़ी की हैं?

उत्तर: मध्य पूर्व में अशांति ने इस क्षेत्र में भारत की कूटनीति के लिए अपने ऊर्जा आपूर्ति चैनलों को सुरक्षित रखने की नई चुनौतियां खड़ी की हैं।

प्रश्न: नेपाल के वर्तमान प्रधानमंत्री के.पी. शर्मा को भारत के संबंध में कैसा माना जाता है?

उत्तर: नेपाल के वर्तमान प्रधानमंत्री खड्ग प्रसाद (केपी) शर्मा को भारत विरोधी माना जाता है

प्रश्न: केपी ओली की सरकार ने दिसंबर 2024 में चीन की किस महत्वाकांक्षी परियोजना पर समझौता किया?

उत्तर: केपी ओली की सरकार ने चीन की महत्वाकांक्षी परियोजना बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव (बीआरआई) के नए फ्रेमवर्क पर समझौता किया है।

प्रश्न: मोहम्मद मुइज्जू मालदीव के राष्ट्रपति कब बने और उनके चुनाव अभियान का नारा क्या था?

उत्तर: मोहम्मद मुइज्जू मालदीव के राष्ट्रपति नवंबर 2023 में बने और उन्होंने अपने चुनाव अभियान में 'इंडिया आउट' यानी भारत को देश से बाहर करने का नारा दिया था।

प्रश्न: अगस्त 2024 में भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मालदीव की यात्रा क्यों की?

उत्तर: विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मालदीव यात्रा की और कई समझौतों पर हस्ताक्षर हुए, जिससे संबंधों में सहजता आने का संकेत मिला।

प्रश्न: 2024 में आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी 2025 के आयोजन को लेकर भारत और पाकिस्तान के बीच क्या घमासान रहा?

उत्तर: चैंपियंस ट्रॉफी की मेजबानी पाकिस्तान के पास है, लेकिन भारतीय क्रिकेट टीम ने पाकिस्तान जाने से साफ इनकार कर दिया

प्रश्न: श्रीलंका में 2022 में सरकार के खिलाफ बगावत होने पर भारत ने क्या मदद की?

उत्तर: भारत ने आर्थिक संकट में डूबे श्रीलंका की आगे बढ़कर मदद की

प्रश्न: 2024 में श्रीलंका के राष्ट्रपति चुनावों में किसने जीत दर्ज की?

उत्तर: 2024 में वामपंथी नेता अनुरा कुमारा दिसानायके ने राष्ट्रपति चुनावों में जीत दर्ज की।

वैश्विक रोजगार और सामाजिक परिदृश्य: रुझान 2025

प्रश्न: अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) की "वर्ल्ड एम्प्लॉयमेंट एंड सोशल आउटलुक (WESO): ट्रेंड्स 2025” रिपोर्ट के अनुसार, 2024 में वैश्विक बेरोजगारी दर कितनी रही?

उत्तर: 2024 में वैश्विक बेरोजगारी दर 5% के रिकॉर्ड निम्नतम स्तर पर रही।

प्रश्न: WESO ट्रेंड्स 2025 रिपोर्ट के अनुसार, 2024 में युवा बेरोजगारी दर कितनी रही?

उत्तर: युवा बेरोजगारी दर 12.6% के उच्च स्तर पर रही।

प्रश्न: उप-सहारा अफ्रीका में रोजगार वृद्धि मुख्यतः किस क्षेत्र में है?

उत्तर: उप-सहारा अफ्रीका में रोजगार वृद्धि मुख्यतः अनौपचारिक क्षेत्र में है।

प्रश्न: 2024 में वैश्विक रोजगार अंतराल कितने मिलियन था?

उत्तर: 2024 में वैश्विक रोजगार अंतराल 402 मिलियन था।

प्रश्न: 2024 में वैश्विक NEET (शिक्षा, रोजगार या प्रशिक्षण में नहीं) आबादी कितनी थी?

उत्तर: 2024 में वैश्विक NEET आबादी 259.1 मिलियन तक पहुंच गई।

प्रश्न: लगभग कितने राष्ट्र ऋण संकट के जोखिम में हैं?

उत्तर: लगभग 70 राष्ट्र ऋण संकट के जोखिम में हैं।

प्रश्न: नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र में वैश्विक रोजगार 2023 में कितना हो गया है?

उत्तर: नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र में वैश्विक रोजगार 2022 में 13.7 मिलियन से बढ़कर 2023 में 16.2 मिलियन हो गया है।

प्रश्न: वैश्विक ऊर्जा संक्रमण सूचकांक (ETI) 2025 में भारत किस स्थान पर रहा?

उत्तर: वैश्विक ऊर्जा संक्रमण सूचकांक (ETI) 2025 में भारत पिछले वर्ष से 63वें स्थान से खिसककर 71वें स्थान पर पहुंच गया।

प्रश्न: वैश्विक ऊर्जा संक्रमण सूचकांक किस संगठन द्वारा जारी किया जाता है?

उत्तर: यह सूचकांक एक्सेंचर के सहयोग से विश्व आर्थिक मंच (WEF) द्वारा जारी किया जाता है।

प्रश्न: ETI रिपोर्ट के अनुसार शीर्ष प्रदर्शनकर्ता देश कौन सा है?

उत्तर: 118 देशों की सूची में स्वीडन शीर्ष पर है

प्रश्न: 2025 ETI रिपोर्ट के अनुसार, ऊर्जा सुरक्षा में ठहराव का क्या कारण है?

उत्तर: आपूर्ति श्रृंखला कमजोरियों और भू-राजनीतिक अनिश्चितताओं के कारण ऊर्जा सुरक्षा स्थिर रही है, भले ही 2024 में स्वच्छ ऊर्जा निवेश $2 ट्रिलियन से अधिक रहा।

प्रश्न: भारत के ऊर्जा संक्रमण में मुख्य चुनौतियाँ क्या हैं?

उत्तर: आयातित जीवाश्म ईंधन पर भारत की निर्भरता (ऊर्जा सुरक्षा), पुराने ग्रिड बुनियादी ढांचे और सीमित भंडारण क्षमता (बुनियादी ढांचा अंतराल), तथा ग्रामीण एवं हाशिए पर रहने वाले समुदायों के लिए किफायती ऊर्जा पहुंच (समानता चिंताएं) मुख्य चुनौतियाँ हैं।

विश्व आर्थिक स्थिति और संभावनाएँ-2025

प्रश्न: "विश्व आर्थिक स्थिति और संभावनाएँ-2025" (WESP) रिपोर्ट के अनुसार 2025 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का पूर्वानुमान कितना है?

उत्तर: भारत की जीडीपी वृद्धि दर का पूर्वानुमान 2025 के लिए 6.6% से घटाकर 6.3% कर दिया गया है।

प्रश्न: WESP रिपोर्ट किस संगठन द्वारा जारी की जाती है?

उत्तर: यह रिपोर्ट संयुक्त राष्ट्र के आर्थिक एवं सामाजिक मामलों के विभाग (UNDESA) द्वारा जारी की जाती है।

प्रश्न: भारत की जीडीपी वृद्धि दर अन्य प्रमुख वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं की तुलना में कैसी है?

उत्तर: भारत की जीडीपी वृद्धि दर प्रमुख वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में सबसे अधिक है।

प्रश्न: 2024-25 में भारत का कुल निर्यात कितना रहा?

उत्तर: कुल निर्यात 2024-25 में रिकॉर्ड USD 824.9 बिलियन रहा।

प्रश्न: 2025 में वैश्विक सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर कितनी रहने का अनुमान है?

उत्तर: वैश्विक सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर 2025 में धीमी होकर 2.4% रहने का अनुमान है।

प्रश्न: बढ़ते अमेरिकी टैरिफ से क्या उत्पन्न हुआ है जिससे वैश्विक व्यापार लागत बढ़ गई है?

उत्तर: बढ़ते अमेरिकी टैरिफ से "टैरिफ शॉक" उत्पन्न हुआ है, जिससे वैश्विक व्यापार लागत बढ़ गई है, आपूर्ति श्रृंखला बाधित हुई है और विकासशील अर्थव्यवस्थाओं पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है।

प्रश्न: विश्व आर्थिक मंच द्वारा जारी "वैश्विक जोखिम रिपोर्ट, 2025" का कौन सा संस्करण है?

उत्तर: यह रिपोर्ट का 20वां संस्करण है।

प्रश्न: वैश्विक जोखिम रिपोर्ट 2025 के अनुसार, दीर्घकालिक चिंताओं में कौन से पर्यावरणीय जोखिम शीर्ष पर रहे हैं?

उत्तर: चरम मौसम की घटनाओं के नेतृत्व में पर्यावरणीय जोखिम लगातार 10-वर्षीय जोखिम रैंकिंग में शीर्ष पर रहे हैं।

प्रश्न: 2025 की जोखिम रिपोर्ट में 'प्रदूषण' किस स्थान पर है?

उत्तर: प्रदूषण वर्ष 2009 में 37वें स्थान से बढ़कर वर्ष 2025 में दूसरे स्थान पर पहुंच गया है।

प्रश्न: रिपोर्ट के अनुसार, 2025 तक वैश्विक मुद्रास्फीति घटकर कितनी होने का अनुमान है?

उत्तर: वैश्विक मुद्रास्फीति 2025 तक घटकर 3.5% होने का अनुमान है।

प्रश्न: गलत सूचना से क्या तात्पर्य है?

उत्तर: गलत सूचना से तात्पर्य झूठी सूचना से है जो धोखा देने के इरादे के बिना फैलाई जाती है, अक्सर इसलिए क्योंकि इसे साझा करने वाला व्यक्ति इसे सच मानता है।

प्रश्न: दुष्प्रचार क्या है?

उत्तर: दुष्प्रचार जानबूझकर फैलाई गई गलत सूचना है जो दूसरों को गुमराह करने या हेरफेर करने के इरादे से प्रसारित की जाती है

प्रश्न: एल्गोरिदमिक पूर्वाग्रह क्यों उत्पन्न होते हैं?

उत्तर: एल्गोरिदमिक पूर्वाग्रह त्रुटिपूर्ण डेटा, सामाजिक विभाजन और मानवीय निरीक्षण से उत्पन्न होते हैं।

प्रश्न: AI और GAI (जेनरेटिव एआई) किस प्रकार साइबर सुरक्षा जोखिम उत्पन्न करते हैं?

उत्तर: AI और GAI खतरे उत्पन्न करने वाले तत्वों और राज्य एजेंसियों को गलत सूचना अभियान का विस्तार करने, ऑनलाइन कमजोरियों का फायदा उठाने तथा साइबर हमलों के माध्यम से एल्गोरिदम से समझौता करने को सक्षम बनाते हैं।

प्रश्न: 2035 तक वैश्विक जोखिम की गंभीरता और अधिक खराब होने की आशंका कितनी है?

उत्तर: 62% उत्तरदाताओं ने अशांत या तूफानी परिदृश्य का पूर्वानुमान लगाया है, जो वैश्विक जोखिम की गंभीरता में गिरावट को दर्शाता है।

प्रश्न: उभरते जोखिम विषयों में बायोटेक प्रगति से जुड़ी कौन सी चिंताएं शामिल हैं?

उत्तर: बायोटेक प्रगति से जैविक आतंकवाद या जीन संपादन दुर्घटनाओं जैसे दुरुपयोग के बारे में चिंताएं बढ़ गई हैं।

प्रश्न: प्रदूषण से उत्पन्न होने वाली उभरती चिंताओं में कौन से पदार्थ शामिल हैं?

उत्तर: उभरती हुई चिंताओं में पेर- और पॉली-फ्लूरोएल्काइल पदार्थ (PFAS) ("फॉरएवर केमिकल्स") और माइक्रोप्लास्टिक्स शामिल हैं।

प्रश्न: बायो-हथियार और बायो-आतंकवाद संबंधी खतरे क्यों बढ़ गए हैं?

उत्तर: जैवप्रौद्योगिकी में हुई प्रगति से जैविक एजेंट बनाना अथवा उनमें परिवर्तन करना सरल हो गया है, और AI-संचालित साधनों की सुलभता और कम लागत से जैवहथियार विकसित किए जाने के जोखिम बढ़ गए हैं।

प्रश्न: अत्यधिक कालप्रभावन वाली अर्थव्यवस्थाओं में पेंशन संकट क्यों बढ़ रहा है?

उत्तर: इन अर्थव्यवस्थाओं में निर्भरता अनुपात बढ़ रहा है, तथा राज्य और निजी पेंशन प्रणालियों पर दबाव बढ़ रहा है।

प्रश्न: रिपोर्ट में बहुपक्षवाद को बढ़ावा देने के लिए क्या सिफारिश की गई है?

उत्तर: वैश्विक संधियों और समझौतों में भू-आर्थिक टकराव को हल करने की दीर्घकालिक क्षमता है, और विश्व व्यापार संगठन (WTO) में सुधारों को बढ़ावा देना प्राथमिकता का क्षेत्र है।

प्रश्न: प्रदूषण और स्वास्थ्य, पारिस्थितिकी तंत्र एवं अर्थव्यवस्थाओं पर इसके प्रभावों से निपटने के लिए क्या सिफारिश की गई है?

उत्तर: व्यापक नीतियों, अनुकूली रणनीतियों, सख्त नियमों, उभरते प्रदूषकों के एकीकरण एवं उद्योगों और विभिन्न क्षेत्रों में धारणीय प्रथाओं को बढ़ावा देने की आवश्यकता है।

प्रश्न: नैतिक और विनियामक निरीक्षण पर बल देने के लिए क्या आवश्यक है?

उत्तर: एल्गोरिदम संबंधी पूर्वाग्रह को कम करने, निर्णय निर्माण में जवाबदेही सुनिश्चित करने तथा व्यक्तिगत गोपनीयता एवं विश्वास की रक्षा हेतु जिम्मेदार निगरानी के लिए वैश्विक मानकों को स्थापित करने के क्रम में स्पष्ट रूपरेखा की तत्काल आवश्यकता है


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